सूरजपुर (नईदुनिया न्यूज)। जिला मुख्यालय से सटे तिलसिवां गांव में बुधवार को शासकीय भूमि से अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई के दौरान प्रशासनिक अमले से दुर्व्यवहार करने एवं बेदखली की कार्रवाई रोकने की कोशिश करने के मामले में कोतवाली पुलिस ने अतिक्रमणकारी सात महिलाओं के विरुद्ध धारा 151 के तहत प्रतिबंधात्मक कार्रवाई की है। गिरफ्तार सातों महिलाओं को जेल भेज दिया गया है।
बता दें कि ग्राम पंचायत प्रशासन एवं ग्रामीणों की मांग पर बुधवार को प्रशासनिक अमले द्वारा जिला मुख्यालय से सटे ग्राम तिलसिवां में भैसामार गौठान के समीप करीब डेढ़ दर्जन अतिक्रमणकारियों द्वारा शासकीय भूमि पर किए गए अतिक्रमण को हटाने की कार्रवाई की गई। इस दौरान राजस्व अमले द्वारा श्री दयाल राजवाड़े नामक एक अतिक्रमण कारी द्वारा किए गए अवैध निर्माण का एक हिस्सा अतिक्रमण मुक्त कराए जाने से नाराज अन्य अतिक्रमणकारियों द्वारा सूरजपुर तहसीलदार पर पक्षपात करने का आरोप लगाते हुए प्रशासनिक कार्रवाई का विरोध करते हुए जमकर बवाल मचाया था। इस दौरान आधा दर्जन से अधिक अतिक्रमण कारी महिलाओं द्वारा तहसीलदार से दुर्व्यवहार करने के साथ ही उपद्रव करते हुए पथराव भी किया गया था। पथराव से अवैध निर्माण को तोड़ने में लगी एक्सीवेटर मशीन का कांच भी क्षतिग्रस्त हो गया था। स्थिति की भांपते हुए एडिशनल एसपी मधुलिका सिंह एवं पुलिस बल के साथ पहुंचे सूरजपुर एसडीएम रवि सिंह ने मोर्चा संभाला था।
उसके बाद कोतवाली पुलिस ने बवाल मचा रही अतिक्रमण कारी महिलाओं क्रमशः सोनिया सोनी पति मुकेश सोनी, तीजो सिंह पति स्वर्गीय राजकुमार सिंह, सकून सोनी बुधराम सोनी, प्राची सोनी पति मोनू सोनी, काजल सिंह पुत्री स्वर्गीय राजकुमार सिंह, वैशाली शर्मा पति सत्यनारायण शर्मा एवं सरिता अगरिया पति महेश अगरिया को गिरफ्तार पर उनके विरुद्ध धारा 151 के तहत प्रतिबंधात्मक कार्रवाई की गई गिरफ्तार की गई सात महिलाओं को केंद्रीय जेल अंबिकापुर भेज दिया गया।
सभी अवैध निर्माण तोड़ने की मांग-
बेदखली की कार्रवाई से पीड़ित अतिक्रमणकारियों ने आरोप लगाया कि कुछ भू माफियाओं एवं पंचायत प्रतिनिधियों के इशारे पर राजस्व अमले द्वारा पक्षपातपूर्ण कार्रवाई की गई है। उनका आरोप है कि अतिक्रमण कारी का अवैध निर्माण आंशिक रूप से ध्वस्त किया गया है, जबकि उनका पूरा अतिक्रमण ध्वस्त कर दिया गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि आसपास क्षेत्र में राजनैतिक संरक्षण प्राप्त प्रभावशाली लोगों द्वारा शासकीय भूमि पर अतिक्रमण कर बड़ी-बड़ी इमारतें खड़ी कर दी गई है। शासकीय भूमि पर अतिक्रमण करने का सिलसिला लगातार जारी है। प्रभावशाली लोगों के अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई न करते हुए अत्यंत निर्धन अतिक्रमणकारियों का अवैध निर्माण तोड़ा जा रहा है। उन्होंने मांग की है कि शासकीय भूमि पर किए गए सभी अवैध निर्माण को तोड़ा जाए।
शासकीय भूमि पर बड़े पैमाने पर अतिक्रमण-
बता दें कि जिला मुख्यालय के नगर पालिका क्षेत्र समेत शहर से सटे ग्राम तिलसिवां की शासकीय भूमि पूरी तरह अतिक्रमण की चपेट में है। राजनीतिक संरक्षण प्राप्त एवं प्रभावशाली भू माफियाओं द्वारा शासकीय भूमि पर अतिक्रमण कर शासकीय भूमि की खरीद फरोख्त करने का सिलसिला बदस्तूर जारी है। मई 2022 में जिला प्रशासन के निर्देश पर राजस्व अमले द्वारा किए गए सर्वे में केवल जेल पारा वार्ड क्रमांक दस में 395 अतिक्रमणकारियों द्वारा शासकीय भूमि पर अतिक्रमण कर अवैध निर्माण करने की पुष्टि हुई थी। सर्वे में हुई पुष्टि के आधार पर जिला प्रशासन ने अतिक्रमणकारियों को नोटिस जारी करने का अभी दावा किया था, किंतु आज पर्यंत प्रशासनिक महकमा शासकीय भूमि को अतिक्रमण मुक्त करा पाने में पूरी तरह नाकाम साबित रहा है। प्रभावशाली अतिक्रमणकारियों का अतिक्रमण हटाने में प्रशासन पूरी तरह बेबस नजर आ रहा है।
Posted By: Yogeshwar Sharma