इंदौर।नईदुनिया प्रतिनिधि। नशे में धुत चार बदमाशों ने पुलिस चेकिंग पाइंट के समीप खूब उत्पात मचाया। वे ट्रक के सामने आकर खड़े हो गए और चालक से कहा हमारे उपर पहिया चढ़ा दो। ट्रक का शीशा और वाइपर तोड़ डाला। चालक एरोड्रम और बाणगंगा थाने गया, लेकिन पुलिस ने रवाना कर दिया। पहले कहा तुम्हे गाड़ी नहीं रोकना थी। बाद में बोले बदमाशों पर गाड़ी चढ़ा देना थी। इस मामले में पुलिस ने आरोपि‍तों को गिरफ्तार कर लिया है।

शनिवार रात इंटरनेट मीडिया पर ट्रक चालक गुरजीतसिंह का एक वीडियो जारी हुआ। खुद को मालिक और चालक बताने वाला गुरजीत राजस्थान से पूणे(महाराष्ट्र) गाड़ी चलाता है। दो दिन पूर्व वह ट्रक(एमएच 18बीजी 1975) लेकर जा रहा था।

वह लवकुश चौराहा से सुपर कारिडोर की तरफ बढ़ा ही था कि चार बदमाश सामने खड़े हो गए। चारों नशे में दिखाई दे रहे थे। लंबे बाल वाले एक बदमाश ने कहा गाड़ी चढ़ा दे। गुरजीत गुहार लगाता रहा। उसने पहले ट्रक का वाइपर तोड़ डाला।

गुरजीत उसे भाई-भाई बोलता रहा। यह भी कहा कि मैं गरीब आदमी हूं। रोजी-रोटी में तोड़फोड़ करने से क्या फायदा है। इसके बाद बदमाश ने गाड़ी का कांच फोड़ डाला।

गुरजीत एरोड्रम थाने गया, लेकिन पुलिसवालों ने ध्यान नहीं दिया। उससे कहा कि तुमने गाड़ी क्यों रोकी। बदमाशों पर गाड़ी चढ़ा देना थी। बाणगंगा थाना क्षेत्र की घटना बता कर उसको रवाना कर दिया।

वह रात डेढ़ बजे बाणगंगा आया और पुलिसवालों को सीसीटीवी फुटेज सौंपे। उनकी कार के नंबर भी बता दिए, लेकिन पुलिसवालों ने गुरजीत को समझाया और कहा कि लड़ने से क्या फायदा है। तुम तो एनसीआर(अदमचेक) लिखवा कर क्लेम ले लेना।

गुरजीत घटना से दुखी है। उसका कहना है कि ड्राइवर कहीं सुरक्षित नहीं है। इंदौर का पुलिस-प्रशासन कोई काम का नहीं। इंदौर देश में सबसे स्वच्छ शहर तो है ही अपराध में भी नंबर वन है।

पुलिस और कानून व्यवस्था पर सवाल उठे तो अफसर सकते में आ गए। एडिशनल डीसीपी राजेश रघुवंशी ने जांच के आदेश दिए हैं। टीआइ राजेंद्र सोनी के मुताबिक बदमाशों की पहचान हो गई है। ड्राइवर ने रिपोर्ट नहीं लिखवाई थी। पुलिस ने आरोपितों को पकड़ लिया है।

Posted By: Hemant Kumar Upadhyay

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