Narsinghpur News : नरसिंहपुर ( नई दुनिया प्रतिनिधि)। जिले में गन्ना पिराई सत्र का आधे से ज्यादा समय बीत गया है। अब जाकर प्रशासन ने किसानों को शुगर रिकव्हरी के आधार पर गन्नों का दाम दिलाने छह फरवरी को कलेक्टर न्यायालय में मिलों की सुनवाई रखी है। कलेक्टर न्यायालय ने शुगर मिलों को सुनवाई के लिए नोटिस भी दिए हैं। वहीं प्रशासन ने अब तक छुपाकर रखी शुगर रिकव्हरी रिपोर्ट भी सार्वजनिक कर दी है। शुगर मिलों की सुनवाई छह फरवरी को कलेक्टर न्यायालय में होगी।मिलों का पक्ष सुनने के बाद उपरोक्तानुसार कार्रवाई की जाएगी।
जिले के गन्ना उत्पादक किसान पिराई सत्र की शुरुआत के पहले से ही शुगर रिकव्हरी की जांच कराने ओर रिकव्हरी के आधार पर गन्नों का दाम दिलाने की मांग करते रहे हैं। लेकिन प्रशासन की हीलाहवाली के कारण किसानों को मिलों द्वारा निर्धारित दामों में ही गन्ना बेचने मजबूर होना पड़ा। अधिकांश किसानों ने मिलों के साथ ही जिले में लगी गुड़ भट्टियों पर भी गन्ना बेचा। लेकिन प्रशासन ने तो समय पर शुगर रिकव्हरी की जांच करा सका और न ही किसानों को शुगर रिकव्हरी के आधार पर दाम दिलाने कोई सक्रियता दिखाई। इस मामले में प्रशासन की भूमिका पर लगातार सवाल उठा रहे किसानों के आक्रोश ओर बीते दिनों कौड़िया की शुगर मिल में हुए हंगामे के बाद प्रशासन बैकफुट पर आ गया है। जो अब आधे से ज्यादा पिराई सत्र बीतने के बाद किसानों को रिकव्हरी के आधार पर दाम दिलाने की बात करने लगा है।
मिलों का पक्ष सुनने के बाद होगी कार्रवाई:कलेक्टर न्यायालय ने मिलों को नोटिस जारी किए हैं। यह नोटिस रिकव्हरी रेट के आधार पर मप्र गन्ना प्रदाय एवं क्रय नियमन अधिनियम 1958 की धारा 20-1 के प्रावधानों के तहत भारत सरकार की फेयर एंड रिम्यूनिरेटिव प्राइस. एफआरपी दर के आधार पर गन्ना उत्पादक कृषकों को गन्ना मूल्य दिलाने को किए हैं।
रिपोर्ट में यह आया सामने:जिले की शुगर मिलों से विधिवत गन्नों के नमूने लेकर गन्ना अनुसंधान केंद्र बोहानी की लैब में परीक्षण कराया गया था। 18 व 23 जनवरी को लिए गए सैंपल के परीक्षण में शुगर की मिलवार रिपोर्ट आई है। इस रिपोर्ट के अनुसार कमर्शियल केन शुगर प्रतिशत करेली शुगर मिल करेली में 11.50 प्रतिशत, रेवा कृपा शुगर मिल भिटोनी में 12.63 प्रतिशत, वंशिका शुगर मिल बिलगुवां में 11.34 प्रतिशत, महाकौशल शुगर मिल बचई में 11.64 प्रतिशत, आकृति शुगर मिल तूमड़ा में 12.04 प्रतिशत, नर्मदा शुगर मिल सालीचौका में 11.77 प्रतिशत, राजेश्वरी शुगर मिल मोहपानी में 11.63 प्रतिशत और शक्ति शुगर मिल कौंड़िया में 11.43 प्रतिशत पाई गई।
किसानों को होगा इतना फायदा
प्रशासन द्वारा 18 एवं 23 जनवरी को लिए गए सैंपलों की जो रिपोर्ट सार्वजनिक की है। उसके अनुसार यदि किसानों को दाम दिलाने कार्रवाई आगे बढ़ेगी तो किसानों को प्रति क्विंटल 35 से 70 रुपये तक का फायदा मिलने लगेगा। किसानों के अनुसार वर्तमान में अधिकांश शुगर मिलें करीब 10 प्रतिशत की शुगर रिकवरी को आधार मानकर 305 से 310 रुपये का भुगतान कर रहीं हैं। ऐसे में साढ़े 11 से 12 प्रतिशत की रिकवरी में उन्हें व्यापक फायदा मिलने का अनुमान जताया जा रहा है।जिले में सिर्फ दो मिलें ही ऐसी हैं जहां पर 340 रुपये तक का भुगतान हो रहा है। हालांकि यहां भी बोनस आदि को लेकर संशय बना हुआ है।रिकव्हरी दर इनकी भी अधिक निकली है। ऐसे में यहां पर किसानों को अधिक भुगतान प्राप्त होगा।
कई वर्षो बाद आई शुगर रिकव्हरी रिपोर्ट
बताया जाता है कि जिले में कई वर्षो बाद शुगर रिकव्हरी रिपोर्ट आई है। इसके पूर्व वर्ष 2015-16 में गन्ना की जांच पवारखेड़ा में कराई थी। इसके बाद जांच नहीं हो सकी।जबकि हर वर्ष गन्ना सीजन में किसान संगठन ज्ञापन, धरना-प्रदर्शन, मांग करते रहे। वर्ष 2018-19 में तत्कालीन कलेक्टर दीपक सक्सेना ने जरूर किसानों के हित में फैसला लेने का साहस दिखाया लेकिन प्रभावशाली शुगर लाबी ने दाम नहीं बढ़ने दिए। इसके बाद कोरोनाकाल में तो मिलों ने मनमाने दामों पर गन्नाा खरीदा। सहायक संचालक गन्ना विभाग ने भी पाक्षिक रिपोर्ट जारी करना बंद कर दिया। गलत रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को दी गईं। जिसके कारण किसानों को सड़कों पर प्रदर्शन करना पड़ा।
प्रशिक्षण के कई दिन बाद हुई जांच
शुगर रिकव्हरी जांच करने का कार्य किस तरह धीमी गति से शुरू हुआ। इसकी बानगी खुद प्रशासन बयां कर रहा है। कलेक्टर के निर्देश पर गन्ना अनुसंधान केंद्र बोहानी की कृषि विज्ञान केंद्र नरसिंहपुर में स्थापित शुगर रिकवरी लैब में जांच करने के लिए प्रभारी वैज्ञानिक गन्ना अनुसंधान केंद्र बोहानी के नेतृत्व में शुगर रिकवरी जांच दल का गठन हुआ। दिसंबर में दल का प्रशिक्षण कराया गया। लेकिन जांच का कार्य जनवरी के पहले पखवाड़े में शुरू हो सका। जबकि किसानों को गन्ना उचित मूल्य दिलाने कलेक्टर के आदेशानुसार पिराई सत्र 2022-23 में संचालित मिलों से गन्ना के सैंपल लेने के लिए टीम गठित की गई है। जिसमें सहायक संचालक कृषि गन्ना डा. अभिषेक दुबे के नेतृत्व में अनुविभागीय कृषि अधिकारी, तहसीलदार, वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी को शामिल किया गया है।
Posted By: Dheeraj Bajpaih