सिवनी (नईदुनिया प्रतिनिधि)। घटते भू-जल स्तर से अब आमजन की परेशानियों बढ़ने लगी है। छपारा विकासखंड के गांव देवरीकला की जीवन रेखा बिजना नदी सूख चुकी है।फलस्वरूप इस गांव में पेयजल योजना भी प्रभावित है। नदी सूखने के कारण किसानों की चिंताएं बढ़ गई हैं।किसानों ने बताया है कि गेहूं की फसल में कम से कम 3 बार सिंचाई की आवश्यकता होती है। नदी से एक बार भी पानी नहीं मिलता है। नदी सूखने से कुएं और पूर्व में भी पानी नहीं बचा है। नदी बरसाती नाले में बदल चुकी है।केकड़ा गांव से सुनवारा गावं व गोरखपुर तक का क्षेत्र कई वर्षों से कम वर्षा वाला क्षेत्र बना हुआ है। बिजना नदी में एक बांध चमारी के पास इमलिया में बना है। पिछले साल नदी में वहीं से पानी छोड़ा गया था।

किसानों का कहना है कि नदी में कम से कम 4 मध्यम बांध बनाने की आवश्यकता है, ताकि नदी का जल प्रवाह बंद ना हो। जल प्रवाह बंद नहीं होने से जलस्तर एक निश्चित गहराई पर बना रहेगा। पिछले सालों में एक बड़े बांध बनाने की जानकारी किसानों को लगी थी पर सिंचाई विभाग द्वारा कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई।किसानों का कहना है कि सिंचाई विभाग को इस क्षेत्र में किसानों के हित के लिए छोटे या बड़े बांध बनाना चाहिए। साथ ही लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग भी नदी किनारे के गांव में जल योजना के लिए स्टाप डैम बनाने की प्रक्रिया शुरू करें अन्यथा यहां से पानी नहीं होने के कारण किसानों और आमजनों के पलायन होने तक की संभावना बन रही है।

Posted By: Nai Dunia News Network

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