Hello Doctor Indore: इंदौर, नईदुनिया प्रतिनिधि। गर्मी के दिनों में बीमारियों का खतरा बना रहता है, क्योंकि ये मौसम कई तरह की स्वास्थ्य समस्याएं लेकर आता हैं। ऐसे में हमें विशेष रूप से सेहत का ध्यान रखने की आवश्यकता होती है। गर्मी में सबसे ज्यादा बच्चे बीमार होते हैं। छुट्टियों के दिनों में खेलकूद में मस्त रहने के कारण शरीर में पानी की कमी से वह डिहाइड्रेशन का शिकार हो जाते हैं, इसलिए बच्चों को भीषण गर्मी में दिन के समय में बाहर ना निकलने दें।
इन दिनों लू का खतरा भी ज्यादा बढ़ जाता है, इसलिए बच्चों को सुबह 11 से शाम छह बजे तक घरों से बाहर निकलने नहीं देना चाहिए। यदि आवश्यक हो तो उन्हें घर से पानी पिलाकर ही बाहर लेकर जाए। साथ ही धूप और गर्म हवाओं से बचाने के लिए उन्हें कपड़े से ढंककर ही बाहर निकालें, ताकि गर्मी में होने वाली बीमारियों से बचा जा सकता है।
इस मौसम में हीट स्ट्रोक या लू लगने से दिमाग, दिल, गुर्दे या मांसपेशियों को नुकसान पहुंच सकता है। इस मौसम में जंक फूड बिल्कुल नहीं खाना चाहिए, क्योंकि इसके कारण भी बीमारियों का खतरा रहता है। यह सलाह शिशु रोग विशेषज्ञ डा. हेमंत जैन ने दी। वे बुधवार को नईदुनिया के हेलो डाक्टर कार्यक्रम में बच्चों को गर्मी में होने वाली समस्या, पहचान एवं बचाव को लेकर पाठकों के सवालों के जवाब दे रहे थे। डा. हेमंत ने बताया कि इस मौसम में पानी का भी ध्यान रखना चाहिए। घर से बाहर निकलने पर पानी साथ लेकर जाना चाहिए। बाहर का पानी पीने से भी बीमारियों का खतरा बढ़ सकता है। उन्हें जंक फूड से दूर रखें।
पाठकों के सवालों का दिया जवाब
सवाल - दो साल से कम उम्र के बच्चों को जल्दी लू लग जाती है। इससे बचाव के लिए क्या करें? - अनिल कुछालिया, गुमास्ता नगर
जवाब - गर्मी के दिनों में बच्चों को लू जल्दी लगती है। इसके लक्षण 104 तक तेज बुखार, उल्टी, पेट दर्द आदि हैं। ऐसे में हमें खानपान का विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता है। उन्हें फल, हरी सब्जियां खिलाना चाहिए, ताकि उन्हें बीमारियों से बचाया जा सके। इस मौसम में दवाइयों से ज्यादा खानपान का ध्यान रखना चाहिए।
सवाल - गर्मी के दिनों में दो साल से कम उम्र के बच्चों का खानपान क्या होना चाहिए?
- राजेश अग्रवाल, देवास
जवाब - गर्मी में होने वाली बीमारियों से बचने के लिए फलों का रस, केरी का पना, नींबू पानी, छाछ दे सकते हैं। यह हमें गर्मी से बचाता है। वहीं इस मौसम में विशेष ध्यान रखें कि बच्चों को ज्यादा जंक फूड ना खाने दें। इसके बजाय सादा भोजन, हरी सब्जियों का सेवन करवाना चाहिए, क्योंकि इस मौसम में टायफाइड, पीलिया की शिकायत भी बढ़ जाती है।
सवाल - गर्मी के मौसम में नवजात का किस तरह से ध्यान रखना चाहिए? - प्रतीक कदम, भंवरकुआं
जवाब - गर्मी के दिनों में नवजात का विशेष तौर पर ध्यान रखना चाहिए, क्योंकि उन्हें पसीना भी नहीं आता है। वहीं व्यवस्थित खानपान ना मिलने के कारण कई बार किडनी जैसी बीमारियों होने लगती है। बच्चों का वजन भी कम होने लगता है। यदि बच्चों का वजन कम हो रहा हो तो लापरवाही ना बरतते हुए विशेषज्ञों की सलाह से हमें उपचार करवाना चाहिए।
सवाल- गर्मी के दिनों में क्या बच्चों को खेल शिविरों में भेजना चाहिए? - प्रियांक मंडलोई, इंदौर
जवाब- गर्मी के दिनों में यदि मैदान में बच्चा खेलने जा रहा है तो उसे दोपहर 11 से शाम छह बजे तक नहीं भेजना चाहिए। इस समय उन्हें इनडोर एक्टिविटी के लिए भेजा सकता है, लेकिन वहां भी ध्यान रखा जाए कि वह पानी अधिक मात्रा में पीते रहे।
सवाल - बच्चे अधिक मात्रा में दूध का सेवन करते हैं, तो क्या उससे भी बीमारियां होती है? - पायल, इंदौर
जवाब - अधिक मात्रा में दूध का सेवन करने से बच्चों को खून की कमी होती है। साथ ही वह ज्यादा दूध पीएंगे तो वह खाना भी नहीं खा सकेंगे। दो साल तक के बच्चों को 400 एमएल से ज्यादा दूध नहीं देना चाहिए।
Posted By: Sameer Deshpande