हिंदू धर्म में पिंडदान करने का विशेष महत्व है। इन दिनों पितरों का श्राद्ध, तर्पण करने से पूर्वजों का आशीर्वाद प्राप्त होता है। ऐसे में आइए जानते हैं कि किन जगहों पर पिंडदान करने से पितरों को मिलती है मुक्ति-
पितृपक्ष के दौरान गंगा के किनारे पिंडदान करने से पितरों को विशेष आशीर्वाद मिलता है और इससे पितरों को मुक्ति भी मिलती है।
हरिद्वार में नारायणी शिला के पास पितरों का पिंडदान किया जाता है। इससे पितृ को मोक्ष की प्राप्ति होती है और जीवन में सुख-शांति बनी रहती है।
पितरों को प्रेत बाधाओं से मुक्ति दिलाने के लिए काशी में पिंडदान करने से पितरों की आत्मा को शांति मिलती है।
गया में पिंडदान करना विशेष रूप से प्रभावी माना जाता है, और इसे अत्यधिक शुभ माना जाता है। इससे पितृ को मोक्ष की प्राप्ति होती है।
हरियाणा के कुरुक्षेत्र में अकाल मृत्यु वालों का श्राद्ध करना शुभ माना जाता है और इससे उनकी आत्मा को शांति मिलती है।
उत्तराखंड के बद्रीनाथ में ब्रह्माकपाल पर पिंडदान किया जाता है। इससे पितरों को मुक्ति मिलती है और जीवन में खुशियों का आगमन होता है।
इन जगहों पर पिंडदान करने से पितरों को मुक्ति मिलती है। एस्ट्रो से जुड़ी ऐसी ही अन्य खबरों के लिए पढ़ते रहें NAIDUNIA.COM