अक्सर लोग त्योहारों या शादी में कलावा बंधवा लेते है, लेकिन क्या आप जानते हैं, इसे कब उतारना चाहिए। आज हम इसी बारे में विस्तार से बताएंगे-
कलावा को मौली भी कहा जाता है, इसे हिन्दू धर्म में शुभ और पवित्र मानते हैं। यह लाल रंग का होता है और रक्षा का प्रतीक माना जाता है।
कलावा बांधने से नकारात्मक शक्तियां दूर रहने के साथ भगवान की कृपा बनी रहती है। इसके अलावा इसे रक्षा का प्रतीक माना जाता है।
कलावा को हमेशा पूजा, हवन, यज्ञ या त्योहारों जैसे शुभ अवसरों पर बांधा जाता है। ऐसा करने से सकारात्मक ऊर्जा बढ़ता है।
धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक कलावा जब पुराना होकर खुलने लगे या खुद टूट जाएं तब उतारना सही माना जाता है।
अगर आप कलावा को खुद उतारना चाहते हैं, तो इसे मंगलवार या शनिवार के दिन उताराना शुभ माना जाता है।
कलावा उतारने के बाद इसे किसी साफ जगह रखें या बहते हुए पानी में बहा दें, इसे भूलकर भी जमीन पर नहीं फेंकना चाहिए।
पुराने कलावा को उतारने के बाद शुभ अवसर का इंतजार करिए या पंडित से पूछकर नए कलावा को बांधना शुभ माना जाता है।
इस दिन कलावा उतराना शुभ माना जाता है। यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए दी गई है, ऐसी और जानकारी के लिए पढ़ते रहें naidunia.com