
नईदुनिया प्रतिनिधि,अंबिकापुर। सरगुजा जिले की एक शिक्षिका ने असाधारण उपलब्धि हासिल कर न सिर्फ जिले बल्कि पूरे छत्तीसगढ़ का नाम रोशन किया है। दरिमा गर्ल्स हायर सेकेंडरी स्कूल में पदस्थ शिक्षिका विभा चौबे ने देश के सबसे प्रतिष्ठित क्विज शो कौन बनेगा करोड़पति (केबीसी) में फास्टेस्ट फिंगर फर्स्ट जीतकर हॉट सीट तक पहुंचने का गौरव हासिल किया है। वे सरगुजा जिले की पहली महिला महिला शिक्षिका हैं, जो केबीसी के मंच पर हाट सीट पर बैठकर खेलती नजर आएंगी।
केबीसी द्वारा जारी प्रोमो में साफ देखा जा सकता है कि विभा चौबे 31 दिसंबर और एक जनवरी को महानायक अमिताभ बच्चन के सामने हाट सीट पर बैठकर सवालों का सामना करती दिखाई देंगी। प्रोमो सामने आते ही सरगुजा जिले सहित पूरे शिक्षा जगत में उत्साह और गर्व की लहर दौड़ गई है।
केबीसी तक का यह सफर शिक्षिका विभा चौबे के लिए आसान नहीं था। फास्टेस्ट फिंगर फर्स्ट तक पहुंचने के लिए विभा चौबे को कई कठिन चरणों और चुनौतीपूर्ण पड़ावों से गुजरना पड़ा, लेकिन वर्षों की पढ़ाई, निरंतर ज्ञान अर्जन और आत्मविश्वास ने उन्हें इस मुकाम तक पहुंचा दिया। बच्चों को पढ़ाने के साथ-साथ खुद सीखते रहने की उनकी आदत ही आज उनकी सबसे बड़ी ताकत बनी।
हॉट सीट पर बैठकर अमिताभ बच्चन से मुलाकात को विभा चौबे ने अविस्मरणीय अनुभव बताया। उन्होंने कहा कि महानायक से बातचीत के दौरान ऐसा लगा ही नहीं कि सामने सदी के महानायक बैठे हैं, उनका सरल और आत्मीय व्यवहार इस अनुभव को और खास बना गया।
विभा चौबे की इस सफलता में उनके परिवार का भी अहम योगदान रहा है। उनके पति प्रमेंद्र चौबे, मैनपाट स्कूल में प्राचार्य हैं। उन्होंने हर कदम पर उनका मनोबल बढ़ाया। शिक्षा से जुड़े इस दंपती की यह कहानी आज शिक्षकों और विद्यार्थियों के लिए प्रेरणा बन चुकी है।
विभा चौबे की उपलब्धि से छत्तीसगढ़ का शिक्षा विभाग भी गौरवान्वित महसूस कर रहा है। विभा का मानना है कि उनकी यह सफलता मेहनत, ज्ञान और आत्मविश्वास के बल मिली है। इन गुणों के साथ कोई भी व्यक्ति अपने सपनों को साकार कर सकता है। खासकर ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं, छात्राओं और शिक्षकों के लिए यह एक मजबूत प्रेरणा है।
आज विभा चौबे की पहचान केवल एक शिक्षिका के रूप में नहीं, बल्कि छत्तीसगढ़ की उस बेटी के रूप में बन चुकी है, जिसने बच्चों को ज्ञान देते-देते खुद इतिहास रच दिया। उनकी यह उपलब्धि सरगुजा जिले के लिए गर्व, शिक्षा जगत के लिए सम्मान और आने वाली पीढ़ी के लिए प्रेरणा बन गई है।