अंबिकापुर (नईदुनिया प्रतिनिधि)। ग्रीन अंबिकापुर-क्लीन अंबिकापुर अभियान के तहत इस वर्ष शहर में दो लाख पौधे लगाए जाएंगे। पिछले वर्ष एक लाख पौधे रोपने का लक्ष्य था। कोरोना के चलते अभियान को बीच में ही रोकना पड़ा था।
स्वच्छता के लिए प्रसिद्ध अंबिकापुर को हरियाली में भी नंबर एक बनाने के लिए राज्य श्रम कल्याण बोर्ड अध्यक्ष एवं नगर निगम के वरिष्ठ एमआइसी शफी अहमद ने ''मिशन ग्रीन अंबिकापुर'' की परिकल्पना की थी। इसके तहत नगर निगम और निवेश क्षेत्र में खाली पड़ी जमीनों पर पौधारोपण तथा घरों में मांग के अनुसार फलदार पौधा उपलब्ध कराने की योजना थी। पांच साल तक हर साल एक लाख पौधे लगाने की योजना थी। कोरोना की पहली लहर में लाकडाउन इसके बाद नगर निगम के कई कर्मचारियों के कोरोना पाजिटिव हो जाने के चलते लक्ष्य के विपरीत सिर्फ 17 हजार पौधे ही लगाए जा सके थे।
75 फीसदी पौधे सुरक्षित-
इस अभियान की सतत मानिटरिंग कर रहे श्रम कल्याण मण्डल अध्यक्ष शफी अहमद ने बताया लोगों को उनकी मांग के अनुरूप पौधे उपलब्ध कराए गए थे। सभी पौधों का हेल्थ कार्ड भरवाया गया था। यह सुखद रहा कि इनमें से 85 प्रतिशत से ज्यादा पौधे सुरक्षित हैं। शासकीय भूमि में किए गए सघन पौधारोपण में से 70 प्रतिशत पौधे जीवित है। राजमोहिनी देवी भवन, डाइट कैंपस में पौधे लगाने के अलावा सिंचाई कालोनी के पीछे नींबू बागान विकसित किया जा रहा है। नींबू बागान में रोपित पौधों में अगले वर्ष तक फल आना शुरू हो जाएगा।
फलदार और औषधीय पौधों पर जोर-
पिछले वर्ष इमारती लकड़ी फूलों के पौधे भी वितरित किए गए थे। इस बार उनकी जगह औषधीय गुणों वाले पौधे लगाने तथा वितरित करने पर जोर रहेगा। मुनगा (सहजन) और पपीता के पौधे बड़ी संख्या में तैयार है। गुरूवार को श्रम कल्याण मंडल अध्यक्ष शफी अहमद ने वन, उद्यानिकी और नगर निगम द्वारा तैयार किए जा रहे पौधों का अवलोकन किया। उन्होंने स्वीकार किया कि कोरोना के चलते पौधारोपण प्रभावित हुआ है मगर आने वाले वषोर् में इसे कमी को पूरा कर लिया जाएगा। उन्होंने बताया पपीता और मुनगा के अलावा आम, आंवला, इमली, नीम, जामुन, नींबू आदि के पौधे तैयार किए गए है। वन विभाग औषधीय पौधे भी उपलब्ध करा रहा है।
सहजन के फायदे-
औषधीय गुणों से भरपूर मुनगा (सहजन)के पौधे के मांग इस बार अधिक है।सहजन में एंटी-बैक्टीरियल गुण पाया जाता है जो कई तरह के संक्रमण से सुरक्षित रखने में मददगार है। इसके अलावा इसमें मौजूद विटामिन सी इम्यून सिस्टम को बूस्ट करने का काम करता है। सहजन पाचन तंत्र को भी मजबूत बनाने का काम करता है। इसमें मौजूद फाइबर्स कब्ज की समस्या नहीं होने देते हैं। अस्थमा की शिकायत होने पर भी सहजन फायदेमंद माना जाता है। सर्दी-खांसी और बलगम से छुटकारा पाने के लिए इसका इस्तेमाल घरेलू औषधि के रूप में किया जाता है। सहजन खून की सफाई करने में भी मददगार है।