CG High Court : कवर्धा सड़क हादसे पर हाईकोर्ट का एक्शन, 19 आदिवासियों की मौत को माना जनहित याचिका, 10 घायलों को बनाया पक्षकार
बतादें कि कवर्धा जिले के कुकदूर थाना क्षेत्र के बाहपानी में हुए पिकअप हादसे में राष्ट्रपति की दत्तक संतान बैगा जनजाति के 19 लोगों की दर्दनाक मौत हो गई ...और पढ़ें
Publish Date: Wed, 22 May 2024 09:20:32 AM (IST)Updated Date: Wed, 22 May 2024 09:38:29 AM (IST)
छत्तीसगढ़ हाईकोर्टHighLights
- 24 मई को डिवीजन बेंच में होगी सुनवाई जनहित याचिका पर डिवीजन बेंच में होगी सुनवाई।
- सीएम ने की घोषणा परिजनों को 5 लाख और घायलों को 50 हजार
- सामान की जगह बेतरतीब सवारी वाहनों पर नहीं होती कार्रवाई
नईदुनिया प्रतिनिधि, बिलासपुर। छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस रमेश कुमार सिन्हा ने कवर्धा जिले में हुए सड़क हादसे में 19 आदिवासियों की मौत को जनहित याचिका माना है। इस केस की सुनवाई 24 मई को डिवीजन बेंच में होगी। इससे पहले भी चीफ जस्टिस ने प्रदेश की खस्ताहाल सड़कों को जनहित याचिका मानकर राज्य सरकार से जवाब मांगा था।
बतादें कि कवर्धा जिले के कुकदूर थाना क्षेत्र के बाहपानी में हुए पिकअप हादसे में राष्ट्रपति की दत्तक संतान बैगा जनजाति के 19 लोगों की दर्दनाक मौत हो गई। बारह लोगों ने पिकअप से कूदकर जान बचाई। सभी मृतक ग्राम सेमहारा के रहने वाले थे, जो पिकअप से जंगल में तेंदूपत्ता तोड़ने गए थे। कई ऐसे भी लोग हैं, जो एक ही परिवार के थे। ऐसे में परिवार के लोगों का भी रो-रो कर बुरा हाल है। इस हादसे में 15 लोगों की मौके पर ही मौत हो गई। जबकि, चार घायलों ने उपचार के दौरान दम तोड़ दिया। वहीं, 10 लोग घायल हैं, जिनका उपचार चल रहा है।
सामान की जगह बेतरतीब सवारी वाहनों पर नहीं होती कार्रवाई
पिकअप, ट्रैक्टर, मेटाडोर, छोटा हाथी जैसे मालवाहकों में यात्री परिवहन अक्सर देखने को मिलता है। खासकर शादी-विवाह और धान-रोपाई व निर्माण कार्य के समय श्रमिकों को मालवाहकों से ही ढोया जा रहा है। विभिन्न मुख्य मार्गों के अलावा शहर के भीतर भी उल्लंघन का यह नजारा देखने को मिलता है। जिसे देखने के बाद भी यातायात विभाग और न ही परिवहन विभाग कार्रवाई करता है। हादसे का एक बड़ा कारण नशा भी है।
सीएम ने की घोषणा परिजनों को 5 लाख और घायलों को 50 हजार
हादसे के बाद सीएम विष्णुदेव साय ने मृतकों के परिजनों को 5 लाख रुपए और घायल हुए लोगों को 50 हजार रुपए की सहायता राशि देने की घोषणा की है। साथ ही प्रशासन को यह भी निर्देश दिया गया है कि सड़क सुरक्षा के प्रति अतिरिक्त सावधानी बरती जाए और ऐसे हादसे रोकने के हर संभव उपाय करें।
जनहित याचिका पर हाईकोर्ट ने 10 लोगों को बनाया पक्षकार
हाईकोर्ट ने जनहित याचिका को सुनवाई के लिए रजिस्टर्ड किया है। इस केस में राज्य शासन के पीडब्ल्यूडी के प्रमुख सचिव, परिवहन आयुक्त, स्टेट हाईवे और नेशनल हाईवे के साथ ही कलेक्टर सहित 10 लोगों को पक्षकार बनाया गया है।
हाईकोर्ट ने पहले भी लिया है संज्ञान
यह पहली घटना नहीं है, जिसमें चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा ने स्वतः संज्ञान लिया है। बल्कि, इससे पहले भी उन्होंने जनहित के कई मामलों पर मीडिया में प्रकाशित खबरों को आधार मानकर जनहित याचिका के रूप में सुनवाई शुरू की है। इसी तरह उन्होंने राजधानी रायपुर के विधानसभा रोड सहित प्रदेश की ख़राब सड़कों को जनहित याचिका मानकर सुनवाई की है। इस दौरान डिवीजन बेंच ने शासन को निरन्तर यातायात व्यवस्था दुरुस्त करने और सड़कों पर सुरक्षा के सभी आवश्यक उपाय किए जाने के लिए निर्देशित किया था।