बिलासपुर(नईदुनिया प्रतिनिधि)। जोनल स्टेशन में बेल मेटल कलाकृतियों की बिक्री जारी रहेगी। रेलवे ने इस निश्शुल्क स्टाल को एक महीने के लिए बढ़ा दिया है। इस बार कलाकार को नई जगह दी गई है, ताकि वह मेटल से समानों की बिक्री के साथ- साथ इस कला के बारे में यात्रियों को जानकारी भी दे सके।
रेलवे की व्यापक पहुंच और महत्व को ध्यान में रखते हुए स्थानीय उत्पादों को देशभर में लोकप्रिय बनाने के उद्देश्य से वर्ष 2022-23 के केंद्रीय बजट में वन स्टेशन वन प्रोडक्ट योजना की घोषणा की गई है। इसी योजना के तहत बिलासपुर रेलवे स्टेशन में छतीसगढ़ के प्रसिद्ध ढोकरा कला द्वारा निर्मित बेल मेटल कलाकृतियों की बिक्री के लिए 25 मार्च से प्लेटफार्म क्रमांक एक में स्टाल संचालित किया गया।
15 दिन अवधि पूरी होने के बाद रेलवे ने इसे एक महीने और स्टाल लगाने की अनुमति दी है। कारीगर रायगढ़ जिले है, जो स्वनिर्मित सामानों को रखे हैं। इस स्टाल में बेल मेटल से बनाए आकर्षक पेन स्टैंड, दीये, डांसिंग मूर्तियां, हिरण, हाथी, कछुवा, म्यूजिक सेट मूर्तियां, लाकेट, नाव, लैंप के अलावा रथ आदि जैसे अनेक कलाकृतियां उपलब्ध है। स्थानीय कारीगरों द्वारा बनाए गए इन विलक्षण कलाकृतियों से यात्री परिचित हो रहे हैं।
साथ ही आवश्यकतानुसार इसकी खरीददारी भी कर रहे हैं। यात्रियों के कदम स्टाल के सामने पहुंचते ही थम जाते हैं। रेलवे का मानना है कि वन स्टेशन वन प्रोडक्ट योजना से जहां मेक इन इंडिया का सपना साकार हो रहा है वहीं स्थानीय लघुकार, कारीगरों, हस्तशिल्पों की आय में वृद्धि भी हो रही है। इससे छत्तीसगढ़ के इस स्थानीय उत्पाद को वैश्विक पहचान दिलाने में भी मदद मिलेगी।
रिपोर्ट भेजी जाती है रेलवे बोर्ड
यहां रेलवे बोर्ड के आदेश पर स्टेशन में स्टाल लगाकर इन सामानों की प्रदर्शनी और बिक्री की जा रही है। कलाकार को रेलवे प्रोत्साहित कर रही है। इसके अलावा आवश्यक सामान भी उपलब्ध कराए जा रहे हैं। एक टीम स्टाल में पहुंचने वाले यात्री और खरीददार दोनों की रिपोर्ट बनाकर प्रतिदिन बोर्ड भेजी है।