
जांजगीर-चांपा(नईदुनिया न्यूज)। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की निष्क्रियता के चलते जिले में झोलाछाप डॉक्टर बेखौफ होकर प्रेक्टिस कर लोगों की जान से खिलवाड़ कर रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग की निष्क्रियता का आलम यह है कि जिले के सभी 9 ब्लॉकों में संचालित झोलाछाप डॉक्टरों की सूची तो तैयार कर ली गई है, लेकिन कार्रवाई नहीं की जा रही है। जिले में करीब 1042 झोलाछाप डॉक्टरों के क्लीनिक संचालित हो रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी जिले में नर्सिंग होम एक्ट का क्रियान्वयन करने में पूरी तरह से असफल साबित हो रहे हैं।
स्वास्थ्य विभाग द्वारा जिले के सभी ब्लॉक में प्रैक्टिस कर रहे झोलाछाप डाक्टरों की पहचान कर सूची तैयार की गई है। सूची तैयार करने के बाद मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा सभी बीएमओ को कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। इसके बाद भी अभी तक किसी भी ब्लॉक में बीएमओ के द्वारा कार्रवाई नहीं की गई है। ऐसी स्थिति में विभाग के संबंधित अधिकारियों की कार्य प्रणाली पर सवाल उठ रहे हैं। उल्लेखनीय है कि शहर की तंग गलियों व ग्रामीण क्षेत्रों में झोलाछाप डॉक्टरों की भरमार है, जिनकी संख्या में दिनों दिन वृद्घि हो रही है। झोलाछाप डॉक्टरों के गलत इलाज की वजह से कई लोगों की जान चली गई है। जिले में कई ऐसे प्रकरण सामने आ चुके हैं इसके बावजूद कार्रवाई को लेकर कोई कदम नहीं उठाए जा रहे हैं।
नर्सिंग होम एक्ट के क्रियान्वयन में फेल
स्वास्थ्य सुविधाओं व सेवाओं में सुधार को लेकर नर्सिंग होम एक्ट के तहत स्वास्थ्य संस्थाओं का पंजीयन होना है। एक्ट के तहत पंजीयन के लिए जिले के करीब 350 स्वास्थ्य संस्थानों के आवेदन जिला स्वास्थ्य विभाग को मिले थे। इसके बाद 230 संचालकों को अस्थाई लाइसेंस जारी किया गया है। एक्ट के मापदण्डों को पूरा नहीं करने वाले बाकी संस्थानों का पंजीयन नहीं किया गया और उनका आवेदन खारिज कर दिया गया। ऐसी स्थिति में उन स्वास्थ्य संस्थानों पर आज तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है और उनका संचालन भी हो रहा है।
कार्रवाई के लिए टीम के पास समय नहीं
झोलाछाप डॉक्टरों पर कार्रवाई को लेकर शासन के निर्देश पर ब्लॉक व जिला स्तरीय टीम का गठन किया गया था, लेकिन टीम का गठन कागजों तक ही सीमित रह गया है। टीम में एसडीएम, नगरीय निकाय अधिकारी, बीएमओ, सीएमएचओ शामिल है। ब्लॉक स्तर में भी तीन सदस्यीय टीम बनाकर कार्रवाई करने के निर्देश सीएमएचओ ने सभी बीएमओ को दिए हैं। इसके बाद भी कार्रवाई के नाम पर ब्लॉक व जिला स्तरीय टीम द्वारा एक भी प्रकरण नहीं बनाया गया है। ऐसी स्थिति में आमजनों के स्वास्थ्य को लेकर विभागों की गंभीरता जाहिर होती है।
मालखरौदा में सबसे अधिक झोलाछाप
जिले के मालखरौदा ब्लॉक में सबसे अधिक झोलाछाप डॉक्टरों के क्लीनिक संचालित हो रहे हैं। मालखैरादा ब्लॉक में ही अकेले 269 अवैध रूप से झोलाछाप क्लीनिक संचालित हो रहे हैं। यह आकड़ा अपने आप में चौकाने वाला है। इसके बाद दूसरे नंबर पर बलौदा ब्लॉक में 179 और तीसरे नंबर पर जैजैपुर है यहां 146 झोलाछाप डॉक्टरों के क्लीनिक संचालित हो रहे हैं। वहीं पामगढ़ ब्लॉक में 135 और नवागढ़ में 120 क्लीनिक तो सबसे कम डभरा में 25 और सक्ती ब्लॉक में केवल 30 क्लीनिक संचालित हो रहे हैं।
झोलाछाप डॉक्टरों के क्लीनिकों की ब्लॉकवार जानकारी
ब्लॉक संख्या
नवागढ़ 120
अकलतरा 50
बलौदा 179
बम्हनीडीह 88
पामगढ़ 135
सक्ती 30
मालखरौदा 269
डभरा 25
जैजैपुर 146
'' ब्लॉक स्तर में तीन सदस्यीय टीम बनाकर कार्रवाई करने के निर्देश सभी बीएमओ को दिए गए हैं। पुनः सभी को 12 मार्च को स्मरण पत्र भेजकर जांचकर प्रतिवेदन सीएमएचओ कार्यालय भेजने के निर्देश दिए गए हैं।
डॉ. एस आर बंजारे
सीएमएचओ, जांजगीर