
रायपुर, नईदुनिया प्रतिनिधि। प्रदेश के बहुचर्चित 3,200 करोड़ रुपये के कथित शराब घोटाले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए वरिष्ठ कांग्रेस नेता और पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की उपसचिव रह चुकीं सौम्या चौरसिया को गिरफ्तार किया। बुधवार सुबह करीब 11.30 बजे ईडी ने उन्हें विशेष ईडी कोर्ट में पेश किया, जहां एजेंसी ने रिमांड की मांग की है। कड़ी पुलिस सुरक्षा के बीच सौम्या को अदालत लाया गया।
ईडी सूत्रों के मुताबिक, मंगलवार को सौम्या चौरसिया को मनी लॉन्ड्रिंग मामले में समन जारी कर पूछताछ के लिए तलब किया गया था। कई घंटे चली पूछताछ के दौरान एजेंसी को घोटाले से जुड़े लेन-देन, कमीशनखोरी और नेटवर्क को लेकर अहम जानकारियां मिलने का दावा किया गया है। इन्हीं साक्ष्यों के आधार पर ईडी ने उनकी गिरफ्तारी की कार्रवाई की।
ईडी का कहना है कि सौम्या चौरसिया पर शराब कारोबार में अवैध वसूली, कमीशनखोरी और सरकारी तंत्र के दुरुपयोग के गंभीर आरोप हैं। जांच में यह भी सामने आया है कि कथित तौर पर शराब कारोबार से जुड़े प्रभावशाली लोगों और अधिकारियों के बीच राशि के लेन-देन को व्यवस्थित करने में उनकी भूमिका रही। एजेंसी का दावा है कि पूछताछ के दौरान कई कड़ियां खुली हैं, जिनसे घोटाले के पूरे नेटवर्क तक पहुंचने में मदद मिल सकती है।
उल्लेखनीय है कि सौम्या चौरसिया इससे पहले 570 करोड़ रुपये के कथित कोयला घोटाले के मामले में भी जेल जा चुकी हैं। उस मामले में भी ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों के तहत कार्रवाई की थी। अब शराब घोटाले में गिरफ्तारी के बाद राजनीतिक गलियारों में हलचल तेज हो गई है।
अदालत में ईडी ने दलील दी कि घोटाले की रकम के स्रोत, ट्रेल और लाभार्थियों की पहचान के लिए सौम्या चौरसिया की कस्टडी में पूछताछ आवश्यक है। एजेंसी का कहना है कि अभी कई दस्तावेजों और डिजिटल साक्ष्यों का सामना कराना बाकी है, जिससे जांच को निर्णायक दिशा मिल सकती है।