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राज्य ब्यूरो,नईदुनिया,रायपुर: छत्तीसगढ़ में रोज 20 से 22 लोगों की सड़क हादसे में मौत हो रही है। घंटे में इसका आंकलन करे तो प्रत्येक डेढ़ घंटे में एक की मौत और दो लोग घायल हो रहे है। सबसे अधिक 70 प्रतिशत मौते दोपहिया वाहन सवारों की हुई है। जबकि देश में हर घंटे 55 दुर्घटनाओं में 20 लोग अपनी जान गंवा रहे है।सड़क हादसे में कमी लाने के लिए पुलिस मुख्यालय और परिवहन विभाग लगातार कोशिश कर रही है।
अधिकारियों का कहना है कि दोपहिया चालकों को हेलमेट लगाने और चार पहिया चालकों के सीट बेल्ट लगाकर वाहन चलाने से 40 प्रतिशत तक सड़क हादसे में कमी आने की संभावना है।
केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय की सालाना सड़क दुर्घटना रिपोर्ट 2023 में चौंकाने वाले आंकड़े सामने आए हैं। रिपोर्ट के अनुसार देशभर में प्रतिदिन औसतन 1,317 सड़क दुर्घटनाएं हो रही हैं, जिनमें करीब 474 लोगों की जान जा रही है। इसका मतलब यह हुआ कि हर घंटे 55 दुर्घटनाएं और 20 मौतें दर्ज की जा रही हैं।
रिपोर्ट में वर्ष 2023 में देशभर में 4,80,583 सड़क दुर्घटनाएं हुईं, जो 2022 की तुलना में 4.2 प्रतिशत अधिक हैं। मौतों के मामलों में भी 2.6 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। वहीं घायलों की संख्या 4,62,825 रही, जो पिछले वर्ष की तुलना में 4.4 प्रतिशत अधिक है।
सड़क सुरक्षा की अंतर्विभागीय नोडल एजेंसी के मुताबिक छत्तीसगढ़ में हालात चिंताजनक हैं। वर्ष 2023 में जहां 7,156 दुर्घटनाओं में 3,338 मौतें हुईं, वहीं वर्ष 2024 में 7,693 हादसों में 3,753 लोगों की जान गई। वर्ष 2025 में 15 नंवबर तक 13504 दुर्घटनाओं में 11554 लोग घायल और 5955 लोगों की मौत हुई है। वर्ष 2023 में सबसे ज्यादा सड़क हादसे तमिलनाडु (67,213) में हुए, जबकि मौतों के मामले में उत्तर प्रदेश (23,652) शीर्ष पर रहा। देश के कुल सड़क हादसों में से 22 प्रतिशत केवल राजस्थान, मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ में हुए हैं।
दोपहिया चालकों को हेलमेट लगाने और चार पहिया चालकों के सीट बेल्ट लगाकर वाहन चलाने से 40 प्रतिशत तक सड़क हादसे में कमी आने की संभावना है। पुलिस मुख्यालय सड़क हादसे में कमी लाने की लगातार कोशिश कर रहा है।
-संजय शर्मा, एआईजी ट्रैफिक