राज्य ब्यूरो, नईदुनिया. भोपाल। अपराधों की संख्या की दृष्टि से प्रदेश के 23 जिलों के 63 थाना क्षेत्रों के 88 स्थानों को एससी-एसटी से जुड़े अपराध की घटनाओं के लिए संवेदनशील घोषित किया गया है। गृह विभाग ने इस संबंध में अधिसूचना जारी की है। अब पुलिस इन क्षेत्रों के लिए विशेष रणनीति बनाकर काम करेगी, जिससे घटनाओं को रोका जा सके।
इसमें पुलिस चौकियों की स्थापना, जागरूकता के कार्यक्रम, पुराने विवादों को हल कराने जैसे प्रयास होंगे। घटनाओं को लेकर पुलिस को त्वरित कार्यवाही करने के लिए भी कहा गया है। गृह विभाग ने केंद्र सरकार के अनुसूचित जाति एवं जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत संवेदनशील क्षेत्रों को चिह्नित किया है।
जिन थाना क्षेत्रों को संवेदनशील माना गया है उनमें मंडला जिले का कोतवाली, बालाघाट का कोसमी, भरवेली, विदिशा का कोतवाली, गंज बासौदा, सिविल लाइन, धार का कोतवाली, खंडवा का पदम नगर, मांधाता, पंधाना, इंदौर का सिमरोल, मुरैना कोतवाली, स्टेशन रोड, सिविल लाइन, बामनोर, भिंड में देहात, देवास में औद्योगिक क्षेत्र, पिपलावा, शाजापुर में शुजालपुर सिटी, शुजालपुर मंडी, मंदसौर का वायडीनगर, नर्मदापुरम के देहात, इटारसी, कोतवाली, पिपरिया और शिवपुर, बैतूल में सारणी, आमला, रायसेन में औबेदुल्लागंज, जबलपुर में गोराबाजार, गुना में कोतवाली, कैंट, विजयपुर, आरोन, मधुसूदनगढ़, शिवपुरी में सिरसोद, दिनारा, आमोला, इंमदौर, भौंती, अशोकनगर में कोतवाली, देहार, बहादुरपुर, ग्वालियर में जनकगंज, झांसी रोड, विश्वविद्यालय, ठाठीपुर, बहोड़ापुर, ग्वालियर, डबरा, सागर में कैंट, बहेरिया, बंडा, राहतगढ़, दमोह में कोतवाली, छतरपुर में सिविल लाइन, लवकुशनगर, जुझारपुर और टीकमगढ़ जिले का कोतवाली थाना क्षेत्र शामिल है।