Bhopal News: भोपाल (नवदुनिया प्रतिनिधि)। अटल बिहारी वाजपेयी हिंदी विश्वविद्यालय के कुलपति के पद पर अमरकंटक इंदिरा गांधी राष्ट्रीय जनजातीय विश्वविद्यालय में पदस्थ हिंदी के प्राध्यापक प्रो. खेम सिंह डहेरिया ने पदभार ग्रहण कर लिया है। प्रो. डहेरिया कार्यभार संभालने के बाद नवदुनिया से खास बातचीत की। उन्होंने कहा कि हिंदी विश्वविद्यालय अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर है। उनका सपना था कि हिंदी को जन-जन की भाषा बनाई जाए। इस दिशा में पूरा प्रयास करूंगा। उनके सपने को आगे बढ़ाने का पूरा प्रयास करेंगे।
सवाल:- हिंदी विवि को लेकर आपकी पहली प्राथमिकता क्या रहेगी।
जवाब- हिंदी को जन-जन की भाषा बनाने के लिए हिंदी प्रयोगशाला शुरू करने का विचार है। विवि को केंद्रीय विश्वविद्यालय का दर्जा दिलाना मेरी पहली प्राथमिकता है।
सवाल:- हिंदी विवि को केंद्रीय विवि का दर्जा दिलाने के लिए क्या प्रयास करेंगे।
जवाब:- सबसे पहले इस प्रक्रिया को आगे बढ़ाएंगे। राज्य और केंद्रीय स्तर तक प्रयास करेंगे। अटल बिहारी वाजपेयी का जो सपना था कि हिंदी को जन-जन की भाषा बनाई जाए। उनके मूल्यों को ध्यान में रखकर मेरी पहली प्राथमिका यही रहेगी कि विवि को केंद्रीय दर्जा मिले।
सवाल:-हिंदी विवि के विस्तार के लिए क्या-क्या कार्य करेंगे।
जवाब- हिंदी को बढ़ावा देने के लिए एक हिंदी भाषा प्रयोगशाला की स्थापना करेंगे, ताकि विद्यार्थी हिंदी में अच्छे से उच्चारण कर सकें। हिंदी को जनभाषा बनाएंगे और राष्ट्र भाषा का दर्जा दिलाने के लिए पूरा प्रयास करेंगे।
सवाल:- विवि में कई विभाग बंद हो चुके हैं, क्या वे दोबारा शुरू होंगे।
जवाब:- अभी जो विभाग चल रहे हैं। वे निरंतर संचालित होते रहेंगे। कई विभाग किस कारण से बंद हुए हैं। उनकी समीक्षा की जाएगी।
सवाल:- विवि में 50 से अधिक ऐसे पाठ्यक्रम हैं, जिसमें विद्यार्थियों की संख्या कम है, तो क्या इन कोर्सेस को बंद करेंगे। विद्यार्थियों की संख्या बढ़ाने के लिए क्या प्रयास करेंगे।
जवाब:-विद्यिार्थियों की संख्या बढ़ाने का प्रयास करेंगे। अभी विवि में तीन छात्रावास हैं और अधिक छात्रावास निर्माण करने का प्रयास करेंगे। साथ ही प्रचार-प्रसार करेंगे।
सवाल:- क्या विवि में कोई और भी नया रोजगारमूलक कोर्स प्रारंभ करेंगे।
जवाब- प्रधानमंत्री की संकल्पना आत्मनिर्भर भारत के तहत विवि के अध्ययन केंद्रों में कई रोजगार मूलक कोर्स प्रारंभ किए गए हैं।
सवाल:- हिंदी में मेडिकल और इंजीनियरिंग का पाठ्यक्रम विवि तैयार करने वाला था। अब तक नहीं हो पाया। इस दिशा में क्या करेंगे।
जवाब:- मेडिकल और इंजीनियरिंग की पढ़ाई हिंदी में कराने के लिए पहली प्राथमिकता से काम करेंगे।
सवाल:- विवि में नया कुछ भी शुरू करना है या संचालन में बजट की कमी एक बड़ी समस्या है। इसे कैसे पूरा करेंगे।
जवाब:-बजट के लिए सौ फीसद प्रयास करेंगे, ताकि शिक्षा संबंधी कार्यों में बाधा न आए।
सवाल :-नई शिक्षा नीति को लागू करने के लिए क्या प्रयास करेंगे
जवाब:- नई शिक्षा नीति में क्षेत्रीय भाषाओं को बढ़ावा देने की बात की गई है। मूल्य आधारित शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए हिंदी भाषा में प्राचीन और आधुनिक पाठ्यक्रमों को हिंदी में अनुवाद कराएंगे।
सवाल:- विवि में नियमित शिक्षक भर्ती में कई अड़चने हैं। इसे कैसे दूर करेंगे।
जवाब:- आरक्षण को लेकर मामला अभी कोर्ट में है। जिसकी वजह से भर्तियों में अड़चनें आ रही हैं। इसे दूर करेंगे।