भोपाल, नवदुनिया प्रतिनिधि। भोपाल से बिलासपुर व रायपुर जाने के लिए ट्रेनों में कन्फर्म टिकट नहीं मिल रहे हैं। भोपाल के यात्री इटारसी जंक्शन से ट्रेनें पकड़ने के लिए तैयार है। तब भी मुंबई व प्रयागराज से आकर बिलासपुर व रायपुर की ओर जाने वाली ट्रेनों में वेटिंग व नो रूम की स्थिति है। यात्री परेशान हैं। वैसे ही भोपाल से इन शहरों के लिए कम ट्रेनें हैं। इसी बीच रेलवे ने नागपुर रेल मंडल में कुछ ट्रेनों को निरस्त कर दिया है। ये ट्रेनें रेलवे ट्रैक का सुधार करने के लिए निरस्त की है। यात्री सड़क मार्ग से यात्रा करने के लिए मजबूर हो रहे हैं। कुछ यात्री एक से दो हफ्ते बाद के वेटिंग टिकट ले रहे हैं।
भोपाल सहित मंडल के बीना, इटारसी समेत अन्य स्टेशनों से होकर बिलासपुर, रायपुर व नागपुर की ओर जाने वाली ट्रेनों को नागपुर रेल मंडल ने ट्रैक ट्रैक सुधार कार्यों व पटरी जोड़ने के कामों के चलते निरस्त किया है। ये काम राजनादगांव से कालमना के बीच किए जा रहे हैं। निरस्त की गई ट्रेनों में कोरबा-अमृतसर छत्तीसगढ़ एक्सप्रेस, बिलासपुर-बीकानेर एक्सप्रेस, बिलासपुर-भगत की कोठी एक्सप्रेस जैसी ट्रेनें शामिल है। ये ट्रेनें आठ सितंबर तक अलग-अलग तारीखों में निरस्त की गई हैं।
यह है स्थिति
- ट्रेन 12410 गोंडवाना एक्सप्रेस के स्लीपर श्रेणी में सात व नौ सितंबर को नो रूम, बाकी श्रेणी में वेटिंग है।
- ट्रेन 18238 छत्तीसगढ़ एक्सप्रेस तीन सितंबर तक निरस्त है। इसके बाद बहाल हो जाएगी लेकिन स्लीपर श्रेणी में सात सितंबर को नो रूम है। एक हफ्ते तक बाकी श्रेणी में वेटिंग है।
- ट्रेन 12854 अमरकंटक एक्सप्रेस के स्लीपर श्रेणी में सात सितंबर को 134 वेटिंग है। बाद की तारीखों में कन्फर्म बर्थ उपलब्ध है।
- ट्रेन 20814 जयपुर-पुरी सुपरफास्ट एक्सप्रेस में चार सितंबर को नो रूम, इसके बाद नौ सितंबर तक सभी श्रेणी में वेटिंग है।
- ट्रेन 18233 इंदौर-बिलासपुर एक्सप्रेस के सभी श्रेणी में नौ सितंबर तक वेटिंग, इसके बाद कन्फर्म टिकट मिल रहे हैं।
यात्रियों की परेशानी
यात्री राजेश सिंह का कहना है कि वह महीने में एक बार रायपुर से भोपाल की यात्रा करते हैं। वह एक निजी शिक्षण संस्था में नौकरी करते हैं, दफ्तर के काम के चलते आना पड़ता है। ट्रेन सबसे अच्छा जरिया है लेकिन बीते चार दिनों से ट्रेनों में टिकट नहीं है। अगले एक हफ्ते तक यही स्थिति रहने वाली है। सड़क मार्ग से आना-जाना बहुत कठिन है, वह भी बारिश के दिनों में तो असंभव जैसा है, जो चुनिंदा ट्रेनें चल रही है, उनके सामान्य कोचों में बहुत भीड़ है, उनमें लंबी यात्रा करना बहुत मुश्किल है।