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राज्य ब्यूरो, नईदुनिया, भोपाल। मध्य प्रदेश विधानसभा के एक दिवसीय विशेष सत्र में मुख्यमंत्री डा. मोहन यादव ने बुधवार को विकसित, आत्मनिर्भर और समृद्ध मध्य प्रदेश बनाने का संकल्प रखा। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार की प्राथमिकता में रोजगार और युवा हैं। अगले पांच साल में ढाई लाख सरकारी पदों पर भर्ती करेंगे। गड़बड़ी करने वालों पर कड़ी कार्रवाई भी होगी। उन्होंने निवेश को लेकर दावा किया कि आठ लाख करोड़ रुपये के प्रस्तावों पर काम प्रारंभ हो गया है। दो साल में किए गए काम भले ही अभी कम लगें पर आगे मील का पत्थर सिद्ध होंगे। हमारे पास नेता, नीति और नीयत है। मध्य प्रदेश को विकसित और आत्मनिर्भर बनाकर ही दम लेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकारों ने बीमारू कहे जाने वाले मध्य प्रदेश को विकासशील से विकसित राज्य की दहलीज पर ला दिया है। हाल ही में लाल सलाम (माओवादी हिंसा) को आखिरी सलाम किया। कांग्रेस सरकार में मंत्री लिखीराम कांवरे की घर से निकालकर हत्या कर दी गई थी। हमने हिसाब चुकता किया। 27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण पर उन्होंने कहा कि विपक्ष को अपने नेता से पूछना चाहिए कि कोई समिति क्यों नहीं बनाई।
मुख्यमंत्री ने ने भोपाल-इंदौर के बाद जबलपुर और ग्वालियर को भी मेट्रोपोलिटन सिटी बनाने का आश्वासन दिया। कहा 2026 में इसके लिए भी काम करेंगे। पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन सिंह का जिक्र कर कहा कि केंद्रीय मानव संसाधन मंत्री रहते उन्होंने नवोदय विद्यालय दिए, यह शिक्षा के क्षेत्र में मील का पत्थर जैसा था। सांदीपनि विद्यालय इसी दिशा में एक प्रयास है। सांस्कृतिक धरोहरों के संरक्षण और विकास के साथ हम केन-बेतवा, पार्वती-काली सिंध जैसी नदी जोड़ो परियोजनाओं पर काम कर रहे हैं। बजट से अधिक कर्ज पर सीएम ने कहा कि एक साल में हमने 82 हजार करोड़ कर्ज लिया है।
संसदीय कार्य मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि डॉ. मोहन यादव के कार्यकाल में मध्य प्रदेश औद्योगिक ग्रोथ का हब बन रहा है। 32 लाख करोड़ से अधिक के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए, 23 लाख से अधिक लोगों को रोजगार मिलेंगे। मुख्यमंत्री का हृदय इतना बड़ा है कि सिंहस्थ-2028 के लिए लाई गई लैंड पूलिंग योजना किसानों के कहने पर वापस ले ली। इस पर नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने भी मुख्यमंत्री को बधाई दी। उन्होंने सिंगरौली में वन कटाई का मुद्दा उठाया। कहा कि जनप्रतिनिधियों को जाने नहीं दिया जा रहा। गुजरात जैसा वनतारा प्रोजेक्ट मध्य प्रदेश में क्यों नहीं बन सकता?