
नईदुनिया प्रतिनिधि, भोपाल। वर्तमान में किसी प्रभावी मौसम प्रणाली के सक्रिय नहीं रहने और लगातार सर्द हवाएं चलने से प्रदेश में ठिठुरन बरकरार है। संभवत: पहली बार नवंबर माह के पहले पखवाड़े में भोपाल, इंदौर सहित कई शहरों में लगातार पांच दिन तक तीव्र शीतलहर की स्थिति बनी हुई है। मौसम विज्ञानियों के मुताबिक, मौसम का इस तरह का मिजाज अभी तीन-चार दिन तक और बना रह सकता है।
बुधवार को भोपाल, इंदौर, राजगढ़ में तीव्र शीतलहर एवं सीहोर, शाजापुर, रीवा एवं शहडोल जिले में शीतलहर का प्रभाव रहा। प्रदेश में रात का सबसे कम सात डिग्री सेल्सियस तापमान राजगढ़ में दर्ज किया गया। बुधवार को दिन का सबसे अधिक 30.5 डिग्री सेल्सियस तापमान खंडवा में रिकॉर्ड किया गया। मलाजखंड में शीतल दिन रहा।
मौसम विज्ञान केंद्र के वरिष्ठ मौसम विज्ञानी पीके रायकवार ने बताया कि वर्तमान में उत्तरी हरियाणा और उसके आसपास हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है। मध्य प्रदेश में मौसम पूरी तरह से शुष्क बना हुआ है। इस वजह से आसमान भी साफ है, जिसके चलते प्रदेश के अधिकतर शहरों में न्यूनतम तापमान सामान्य से कम बने हुए हैं। इस तरह की स्थिति तीन से चार दिन तक बनी रह सकती है।
मौसम विशेषज्ञ अजय शुक्ला ने बताया कि उत्तर भारत के पहाड़ों पर तापमान काफी कम बने हुए हैं। हवाओं का रुख भी उत्तरी एवं उत्तर-पश्चिमी बना हुआ है। उत्तर भारत की तरफ से आ रही सर्द हवाओं के कारण कई शहरों में शीतलहर की स्थिति बनी हुई है। नवंबर के पहले पखवाड़े में संभवत: पहली बार न्यूनतम तापमान इतना कम दर्ज हो रहा है।
अमूमन नवंबर के अंत में कहीं-कहीं शीतलहर की स्थिति बना करती थी। किसी प्रभावी पश्चिमी विक्षोभ के उत्तर भारत में सक्रिय होने पर हवाओं का रुख बदलने से तापमान में कुछ बढ़ोतरी होने की उम्मीद है, लेकिन अभी तीन-चार दिन तक मौसम का मिजाज इसी तरह बना रहने की संभावना है।