मध्य प्रदेश में अवैध उत्खनन व परिवहन के 11 हजार मामले दर्ज, केवल जुर्माने की हुई कार्रवाई
मध्य प्रदेश में अवैध उत्खनन और परिवहन के खिलाफ सरकार ने कड़ी कार्रवाई की है। पिछले एक साल में 10,956 मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें से अधिकांश में जुर्माने की कार्रवाई की गई है। सरकार ने अवैध रेत खदानों के खिलाफ भी कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं।
Publish Date: Thu, 04 Sep 2025 09:23:06 AM (IST)
Updated Date: Thu, 04 Sep 2025 09:31:38 AM (IST)
मध्य प्रदेश में अवैध खनन के मामले लगातार आ रहे हैं सामने। प्रतीकात्मक तस्वीरHighLights
- मध्य प्रदेश में अवैध उत्खनन के 1565 मामले दर्ज किए गए हैं।
- अप्रैल 2024 से अब तक दर्ज मामलों में यह स्थिति है।
- अवैध उत्खनन का पर्यावरण पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ रहा है।
राज्य ब्यूरो, नईदुनिया, भोपाल। मध्य प्रदेश में पिछले एक साल में अवैध उत्खनन व परिवहन के 10,956 मामले दर्ज किए गए। इन पर केवल जुर्माने की ही कार्रवाई की गई, जबकि अवैध उत्खनन के गंभीर मामलों में सजा का भी प्रविधान है। कई बार उत्खननकर्ता खनिज अधिकारियों या उत्खनन रोकने आए अमले पर जानलेवा हमला करते हैं। विगत वर्ष में भिंड में उत्खनन रोकने गए प्रशिक्षु पुलिस अधिकारी की मौत तक हो चुकी है।
मध्य प्रदेश में अवैध उत्खनन के 1565, अवैध परिवहन के 8540 और अवैध भंडारण के 851 मामले दर्ज किए गए। इनसे 83 करोड़ 74 लाख रुपये का जुर्माना वसूला गया। अप्रैल 2024 से अब तक दर्ज मामलों में यह स्थिति है।
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होगी रेत जब्ती की कार्रवाई
- मध्य प्रदेश में 728 रेत खदानें वैध हैं, तो 200 से अधिक अवैध रेत खदानें भी संचालित हो रही हैं।
- भोपाल, ग्वालियर, रीवा, सीधी, छतरपुर से शिकायतें मिली हैं कि ठेकेदारों ने अवैध रेत और अनुमति से ज्यादा रेत का भंडार किया है।
- सर्वे रिपोर्ट के आधार पर जहां ज्यादा रेत का भंडारण होगा, वहां रेत जब्त करने के साथ खिलाफ कार्रवाई होगी।
मुख्यमंत्री के निर्देश पर चलाया था अभियान
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने जून 2024 में कार्रवाई के निर्देश दिए थे। इसके बाद अभियान चलाकर देवास, सीहोर, नर्मदापुरम, नरसिंहपुर, खरगोन, हरदा एवं शहडोल सहित प्रदेशभर में अवैध उत्खनन, परिवहन, भंडारण तथा ओवरलोडिंग के कुल लगभग 200 प्रकरण दर्ज कर डंपर, पोकलेन मशीन, पनडुब्बी इत्यादि जब्त करने के साथ 1.25 करोड़ रुपये का अर्थदंड लगाया गया।