नईदुनिया प्रतिनिधि, भोपाल। कम दबाव का क्षेत्र कमजोर पड़कर वर्तमान में दक्षिण-पूर्वी मध्य प्रदेश पर हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात के रूप में बना हुआ है। मानसून द्रोणिका भी बैतूल, मंडला से होकर गुजर रही है। इस मौसम प्रणालियों के असर से अलग-अलग स्थानों पर वर्षा (MP Rain Alert) हो रही है। इसी क्रम में बुधवार को सुबह साढ़े आठ बजे से शाम साढ़े पांच बजे तक रतलाम में 74, दमोह में 64, नरसिंहपुर में 13, टीकमगढ़ में 12, सागर एवं बैतूल में 11, उज्जैन में 10, खरगोन में आठ, जबलपुर में सात, छिंदवाड़ा में छह, नर्मदापुरम में पांच गुना में चार, पचमढ़ी एवं सीधी में तीन, उमरिया में दो, भोपाल एवं मलाजखंड में एक मिलीमीटर वर्षा हुई।
मौसम विज्ञानियों के मुताबिक, गुरुवार को ग्वालियर, चंबल, सागर, जबलपुर, शहडोल संभाग के जिलों में कहीं-कहीं भारी वर्षा हो सकती है। मौसम विज्ञान केंद्र के विज्ञानी वीएस यादव ने बताया कि वर्तमान में दक्षिण-पूर्वी मध्य प्रदेश पर हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात बना हुआ है। मानसून द्रोणिका नलिया, वल्लभ विद्यानगर, बैतूल, मंडला, संबलपुर, चांदबाली से होकर बंगाल की खाड़ी तक जा रही है। पूर्वोत्तर अरब सागर और उससे लगे गुजरात पर हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है।
इसके अतिरिक्त विदर्भ पर विरूपक हवाओं का क्षेत्र (शियर जोन) मौजूद है। मौसम विशेषज्ञ अजय शुक्ला ने बताया कि बंगाल की खाड़ी में बना कम दबाव का क्षेत्र बड़ी तेजी से आगे बढ़ने के साथ कमजोर भी पड़ गया है। वर्तमान में यह हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात के रूप में दक्षिण-पूर्वी मध्य प्रदेश में मौजूद है। इसके गुरुवार को उत्तर प्रदेश की तरफ चले जाने की संभावना है। इस वजह से पूर्वी एवं उत्तरी मध्य प्रदेश में कहीं-कहीं भारी वर्षा हो सकती है। शेष क्षेत्रों में गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ सकती हैं।