राज्य ब्यूरो, नईदुनिया, भोपाल। केंद्र सरकार ने जीएसटी की दरों में जो कटौती की है, उसका असर प्रदेश के आगामी बजट पर पड़ सकता है। प्रदेश में इस बार आगामी तीन वर्ष की आवश्यकताओं का विभागों से आकलन कराकर बजट तैयार कराया जा रहा है। उप सचिव स्तर पर दो बार बैठक के बाद सचिव और फिर मंत्री स्तरीय बैठकें होंगी। वित्त और वाणिज्यिक कर विभाग के अधिकारियों का मानना है कि जीएसटी में जो कटौती हुई है, उसका असर बजट पर निश्चित तौर पर पड़ेगा।
अनुमान है कि 8,600 करोड़ रुपये का राजस्व कम हो सकता है। प्रदेश सरकार ने 2025-26 के लिए 4.21 लाख करोड़ रुपये का बजट प्रस्तुत किया था। इसके 4.65 लाख करोड़ रुपये तक पहुंचने की संभावना है। इसे देखते हुए वित्त विभाग 2026-27 के बजट की तैयारी कर रहा है। पहली बार आगामी तीन वर्ष का आकलन करते हुए बजट प्रस्ताव मांगे गए हैं। इस बीच भारत सरकार ने कुछ वस्तुओं पर जीएसटी समाप्त कर दिया तो कुछ में कटौती कर दी।
प्रदेश सरकार ने बजट में वर्ष 2025-26 में केंद्रीय और राज्य के जीएसटी को मिलाकर 74,845 करोड़ मिलने का अनुमान लगाया है। हालांकि, अब इसमें आठ से दस प्रतिशत की कमी हो सकती है। इस हिसाब से विभागों के बजट में भी कमी आ सकती है। अभी इन्हें आठ से दस प्रतिशत की वृद्धि के हिसाब से बजट प्रस्ताव तैयार करने के लिए कहा गया था।
सूत्रों का कहना है कि प्रदेश के स्वयं के संसाधन से प्राप्त होने वाली आय भी जीएसटी से प्रभावित होगी। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने भी राजस्व की स्थिति की समीक्षा करने के लिए अधिकारियों की बैठक बुलाई है, जिसमें जीएसटी से संबंधित सभी पहलुओं पर चर्चा होगी।