छिंदवाड़ा। छिंदवाड़ा-नागपुर रेलमार्ग पर पहला स्टेशन लिंगा पर रैक पाइंट निर्माण का कार्य रेलवे द्वारा शुरू किया गया है। निर्माण के साथ ही रेलवे ने स्टेशन के मुख्य सड़क से प्लेटफार्म नंबर तीन तक वाहनों के पहुंचने के लिए कच्चा मार्ग का निर्माण किया गया। रेलवे ने लिंगा स्टेशन से मालगाड़ी की लोडिंग शुरू कर छिदंवाड़ा रैक पाइंट का दबाव कम कर दिया है। इसके साथ ही लिंगा पर लोडिंग का कार्य शुरू होने से क्षेत्र के लोगों को रोजगार मिलेगा। वर्तमान में वहां के लोगों को शहर आकर काम तलाशना पड़ता था। रविवार को लिंगा स्टेशन से मालगाड़ी लोडिंग की गई तथा सोमवार को मालगाड़ी रवाना की गई। फिलहाल जब तक रैक पाइंट नहीं बनता है तब तक सिर्फ लोडिंग का कार्य किया जाएगा, जबकि रैक पाइंट बनने के बाद अनलोडिंग का कार्य भी इस स्टेशन से किया जाएगा। लिंगा रैक पाइंट को बनने में चार माह का समय लगेगा, जिसके बाद जिले के व्यापारी इस रैक पाइंट का फायदा ले सकेंगे। पूर्व में निरीक्षण के दौरान अधिकारी भी जनवरी से मालगाड़ी लोडिंग होने की बात की थी।
- छिंदवाड़ा रैक पाइंट पर रहता है दबाव
वर्तमान में जिले के व्यापारी परासिया व छिंदवाड़ा रेलवे स्टेशन पर बने रैक पाइंट से अपना माल मालगाड़ी में लोडिंग करते आ रहे हैं। सीजन के समय व्यापारियों को मालगाड़ी की बुकिंग करने काफी मशक्कत करनी पड़ती है जिसका सबसे बड़ा कारण रैक पाइंट की संख्या कम होना है। लिंगा में रैक पाइंट बनने से व्यापारियों की इस समस्या का हल हो जाएगा। छिंदवाड़ा के रैक पाइंट पर हमेशा वाहनों की कतार होती है जिससे जाम लगता है। लिंगा रैक पाइंट बनने से इस समस्या का भी समाधान हो जाएगा।
- चौरई और झिलमिली में भी रैक पाइंट
लिंगा के बाद चौरई और झिलमिली रेलवे स्टेशन पर भी रैक पांइट की संभावना रेलवे तलाश रहा है। सीनियर डीसीएम व अन्य अधिकारियों ने झिलमिली एवं चौरई रेलवे स्टेशन का निरीक्षण कर रिपोर्ट तैयार की तथा उनका तर्क था कि इन स्टेशनों पर रैक पांइट बनाने पहले ही योजना बनाई जानी थी। वर्तमान में दोनों ही रेलवे स्टेशन का कार्य चल रहा है लेकिन रैक पाइंट अभी स्वीकृत नहीं है। जबलपुर ब्राडगेज लाइन का कार्य चल रहा है ऐसे में रैक पाइंट बनने से जिल के व्यापारियों को फायदा होगा।
- जिले से सैकड़ों रैक जाती है मक्का
जिले में मक्के की बंपर पैदावार होती है इस मक्के पर देश के साथ ही अन्य देशों की भी नजर रहती है। जिले में होने वाला मक्का स्टार्च व पोल्ट्री उद्योग में सबसे ज्यादा उपयोग होता है इस वर्ष जिले का मक्का बांग्लादेश भी पहुंचाया गया है। लॉकडाउन के दौरान जहां एक ओर यात्री ट्रेन बंद रही ऐसे में मालगाड़ी ने ही रेलवे को आय करके दी है। ऐसे में रेलवे भी अपनी आय बढ़ाने के लिए ज्यादा से ज्यादा मालगाड़ी चलाने व रैक पाइंट बनाने पर बल दे रहा है।