Income Tax News:ग्वालियर. नईदुनिया प्रतिनिधि। नया वित्त वर्ष 2024-25 एक अप्रैल से शुरू होने जा रहा है, जिसको लेकर आंशिक बदलाव होंगे। व्यापारियों को कुछ बातों को लेकर सावधानी रखना जरूरी है। साथ ही इन बदलावों की जानकारी आमजन को भी होना जरूरी है। आयकर की दरों में भले ही कोई बदलाव नहीं होने जा रहा है, लेकिन नई रिजीम लागू हो जाएगी। चार्टर्ड अकाउंटेंट नेहा गर्ग का कहना है कि आयकर रिटर्न भरने से पहले सावधानी रखनी जरूरी है, अन्यथा नई रिजीम में ही रिटर्न भरा हुआ माना जाएगा। हालांकि नई रिजीम में भी कर में छूट का लाभ मिलेगा। मार्च माह समाप्ति में एक दिन शेष है, इसलिए वे व्यापारी जिन्होंने अपना सामान खरीद पर समय सीमा में भुगतान नहीं किया, उन्हें कर अदा करना पड़ सकता है, इसलिए मार्च माह की समाप्ति से पहले ही लेन-देन पूरा कर लें।
आयकर की दरों में कोई बदलाव नहीं, अतः पुरानी कर व्यवस्था में यह व्यक्ति की आयु के अनुसार अलग-अलग है, जबकि नई कर प्रणाली के अन्तर्गत निम्न प्रकार रहेगी:-
- कंपनी की एलएलपी( लिमिटेड लायबिलिटी पार्टनरशिप फर्म) या अन्य व्यक्ति की आयकर दारों में कोई बदलाव नहीं किया गया। वित्त वर्ष 2023-24 जैसी ही रहेगी।
साेवरेन वेल्थ फंड्स और स्टार्टअप्स के लिए कर रियायतों का विस्तार मार्च 2025 तक कर दिया गया है।
-50000 रुपये की मानक कटौती (स्टैंडर्ड डिडक्शन) जो पहले केवल पुराने कर व्यवस्था पर लागू थी अब उसका लाभ नई कर -व्यवस्था के तहत रिटर्न फाइल करने पर भी मिलेगा।अब नई कर व्यवस्था वाई डिफाल्ट सेट रहेगी अतः अगर आप पुरानी कर व्यवस्था के अन्तर्गत रिटर्न भर रहे है तो रिटर्न भरते समय सही विकल्प का चुनाव करें अन्यथा रिटर्न नई कर व्यवस्था में भरी मानी जावेगी।
-सरचार्ज की दर 31 फीसद से घटकर 25 फीसद होने से जिन करदाताओं की आय 5 करोड से अधिक है उन्हें लाभ मिलेगा (1 अप्रैल 2023 से प्रभावी)
-जीवन बीमा पालिसियों से परिपक्वता आय जो 1 अप्रैल, 2023 को या उसके बाद जारी की जा रही, जिसका कुल प्रीमियम 5 लाख से अधिक है वह कराधान के अधीन होगा।
गैर-सरकारी कर्मचारियों के लिए लीव एनकैशमेंट कर छूट सीमा 3 लाख रुपये थी लेकिन अब इसे बढ़ाकर 25 लाख रुपये कर दिया गया है। यह बदलाव 1 अप्रैल से प्रभावी होंगे।