नईदुनिया प्रतिनिधि,ग्वालियर। जीवाजी विश्वविद्यालय यानी जेयू में डिग्री आवेदन करने से लेकर डिग्री हाथ में आने के लिए छात्रों को न जाने कितने चक्कर लगाने पड़ जाते हैं। कई बार ऐसा भी होता है कि उनका आवेदन ही खो जाता है और उन्हें पूरी प्रक्रिया शुरू से दोहरानी पड़ती है। इस समस्या को ध्यान में रखकर जेयू अब छात्र हित में एक बड़ा परिवर्तन करने जा रहा है।
अब छात्रों के अंतिम वर्ष या सेमेस्टर के परीक्षा फार्म के साथ ही उनके डिग्री के लिए आवेदन करवा लिया जाएगा। जिससे छात्रों का परीक्षा परिणाम जारी होने के कुछ ही समय बाद उनकी डिग्री बनवा दी जाएगी और वह उन्हें पोस्ट के माध्यम से भेज भी दी जाएगी। यह प्रयास कुछ ही समय में शुरू भी कर दिया जाएगा। इसके अलावा छात्रों के काॅलेजों में भी डिग्री पहुंचाने की बात पर विचार विमर्श हो रहा है।
आवेदन में देना होगा पता
जेयू के प्रभारी परीक्षा नियंत्रक राजीव मिश्रा की मानें तो अंतिम वर्ष या सेमिस्टर की परीक्षा देने जा रहे छात्रों को परीक्षा फाॅर्म भरने के साथ ही डिग्री के लिए वह पता भरना होगा जिस पर वह अपनी डिग्री मंगवाना चाहते हैं। जिससे परीक्षा परिणाम घोषित होने पर जो छात्र उत्तीर्ण हो जाएं उनकी डिग्री बनवा कर समय से उनके दिए पते पर भेज दी जाए। इससे छात्रों को अनावश्यक रूप से विश्वविद्यालय नहीं आना होगा।
बसंत पंचमी की मोहर हटेगी
जीवाजी विश्वविद्यालय के डिप्टी रजिस्ट्रार और वर्तमान प्रभारी परीक्षा नियंत्रक राजीव मिश्रा के अनुसार अब तक जेयू से जारी होने वाली डिग्रियों जिन्हें दीक्षांत समारोह में वितरित किया जाता था, पर बसंत पंचमी की तारीख की मोहर लगाई जाती थी । मां सरस्वती ज्ञान की देवी हैं । इस कारण से यह परंपरा जेयू द्वारा एक धार्मिक मान्यता के पक्ष से भी लगभग 10 साल से अधिक समय से निरंतर चली आ रही है, लेकिन छात्रों को जल्दी डिग्री देने के लिए अब यह परंपरा भी बंद कर दी जाएगी और बिना बसंत पंचमी की मोहर की डिग्री दी जाएगी।
इनका कहना है
छात्रों को डिग्री के लिए विश्वविद्यालय तक अनावश्यक रूप से न आना पड़े इसके लिए हर संभव प्रयास करेंगे। काॅलेजों में डिग्री भेजने के विकल्प पर भी अभी मंथन चल रहा है। छात्र हितों को देखते हुए जो विकल्प बेहतर होगा उसे लागू कर दिया जाएगा।
-अरुण चौहान, कुलसचिव, जेयू