ग्वालियर. नईदुिनिया प्रतिनिधि। श्रावण मास की अमावस्या को हरियाली अमावस्या के नाम से जाना जाता है। दिनांक 28जुलाई2022 को इस वर्ष की हरियाली अमावस्या है।इस दिन सुहागिन स्त्रियां भगवान शंकर व माता पार्वतीजी की पूजा करती है एवं सुहाग सामग्री यथा बिन्दी,सिन्दूर हरी चूडियोंका वितरण करती है।अमावस्या के दिन पीपल की जड मे दूध व जल चढाया जाता है।तुलसी की पूजा भी की जाती है।भगवान को मालपुआ का भोग लगाकर वितरण किया जाता है। इस बार अमावस्या पर रुचक, शश एवं हंस योग का निर्माण हो रहा है जो शनि, मंगल एवं देवगुरु बृहस्पति के कारण बनते है।अमावस्या तिथि बुधवार को रात्रि 09:10 बजे से बृहस्पतिवार को रात्रि 11:30बजे तक रहेगी।इसी दिन गुरु पुष्य का निर्माण भी हो रहा है जो अत्यन्त शुभ माना जाता है। अमावस्या के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान के पश्चात शंकर पार्वतीजी की पूजा की जाती है धार्मिक मान्यता है कि इससे सुहाग की उम्र लम्बी होती है एवं विध्नबाधाओ से भगवान शिव रक्षा करते है।उदया तिथि होने के कारण अमावस्या 28जुलाई को ही मनाई जाएगी।
6000 से अधिक पौधे रौपेंगे योग शिक्षक और विद्यार्थी
ग्वालियर जिले के 142 शासकीय हाई स्कूल और हायर सेकेंडरी के योग शिक्षक और योग क्लब के विद्यार्थी इस सप्ताह 6000 से अधिक पौधे रौपेंगे। जिला शिक्षा अधिकारी अजय कटियार ने बताया कि जिले के सभी विद्यालयों के शिक्षकों को 5-5पौधे तथा विद्यार्थियों को एक एक पौधा लगाकर वायुदूत पर अपलोड करने के निर्देश जारी किए गए हैं। जिला योग प्रभारी दिनेश चाकणकर ने बताया कि जिले के सभीशासकीय हायर सेकंडरी और हाईस्कूलों में योग क्लब कार्यरत हैं। प्रत्येक विद्यालय में इन योग क्लबों में 40-40 विद्यार्थी सदस्य हैं। प्रत्येक योग क्लब प्रभारी द्वारा 5 तथा प्रत्येक विद्यार्थी द्वारा एक एक पौधा लगाया जाएगा। यहां उल्लेखनीय है कि योग क्लब प्रभारियों द्वारा गत वर्ष भी हरियाली अमावस्या पर पौधे रोपे गए थे।