नईदुनिया प्रतिनिधि। इंदौर-देवास बायपास पर अर्जुन बड़ौद पुल का निर्माण के चलते ट्रैफिक व्यवस्था बुरी तरह चरमारा गई है। गुरुवार दोपहर तीन बजे से यहां जाम लगा हुआ है, जो शुक्रवार शाम तक नहीं खुल पाया है। 36 घंटे से जाम लगा हुआ है। ट्रक से लेकर कार और डम्पर सहित सभी वाहनों के पहिए थम गए हैं।
दूर-दूर तक सिर्फ वाहनों की कतारें देखने को मिल रही है। डकाच्या से लेकर अर्जुन बडौद के बीच की दूरी महज छह किमी है, लेकिन इस छोटी से दूरी को तय करने में चालकों को घंटों का समय लगा रहा है। जाम की वजह से एक किसान दर्दनाक मौत हो गई।
व्यवस्था बिगड़ने के बावजूद जिम्मेदार स्थिति को संभालने के लिए सड़क पर नजर नहीं आए। लोगों का कहना है कि ट्रैफिक जाम को क्लियर करने में कोई मदद नहीं कर रहा है। यहां तक कि एंबुलेंस को भी निकलने के लिए रास्ता नहीं है।
85 करोड़ की लागत से बन रहे ब्रिज का निर्माण पिछले दस महीने से चल रहा है। ब्रिज बनाने के लिए ट्रैफिक को सर्विस रोड पर डायवर्ट किया गया था। मगर निर्माण एजेंसी ने सर्विस रोड की मरम्मत नहीं की, जो अब बड़े-बड़े गड्ढों में तबदील हो गए। इन गड्ढों की वजह से यातायात बुरी तरह प्रभावित हो गया है। यहां तक गड्ढों में वाहन भी गिर रहे है। बरसात के पहले एजेंसी ने इन गड्ढों को भरने की कोई कोशिश नहीं की। इसके चलते जाम की स्थिति बनी है। वाहनों को निकलने के लिए काफी दिक्कतें आ रही है।
बायपास पर रोजाना डेढ़ लाख वाहन गुजरते थे, लेकिन पिछले दस दिनों में मार्ग पर यातायात का दवाब बढ़ा गया है। कारण यह है कि इंदौर-उज्जैन सिक्स लेन और मांगलिया रेलवे ओवर ब्रिज का निर्माण चल रहा है। इस वजह से वाहन यहां से निकल रहे है। वाहनों की संख्या बढ़ने से अर्जुन बड़ौद ब्रिज पर जाम की स्थिति बनने लगी है।
अर्जुन बड़ौद ब्रिज के लिए बनाए डायवर्शन सही ढंग से नहीं किया गया। सर्विस रोड पर ट्रैफिक को मोड रखा है। बरसात की वजह से सर्विस रोड की हालात खराब हो गई है। गड्ढों को भरने के लिए एजेंसी ने गुरुवार रात को डामरीकरण किया, लेकिन सुबह वह वापस उखड़ गया। अधिकारियों के मुताबिक डामरीकरण के दौरान ट्रैफिक को रोका गया था। मगर यातायात बाधित होने से डायवर्शन को खोल दिया। इसके चलते डामर उखड़ गई। फिलहाल इसके लिए दूसरे विकल्पों पर विचार किया जा रहा है।
जाम लगने से वाहनों को निकलने में डेढ़ से दो घंटे लगे। इस दौरान सैटेलाइट टाउनशिप (बिजलपुर) निवासी 62 वर्षीय कमल पांचाल अपनी बहन की तेरहवीं में शामिल होने के लिए परिवार के साथ जा रहे थे, जिसमें बेटा विजय, बहू प्रियंका और शारदा, तब उनकी कारण जाम में फंसे गई। उन्हें घबराहट होने लगी। उनका बेटा कार निकालने की कोशिश करता रहा, लेकिन भीड़ इतनी ज्यादा थी कि गाड़ी हिला भी नहीं सकी। लगभग डेढ़ घंटे तक तड़पते रहने के बाद जब जाम थोड़ा खुला तो उन्हें देवास के एक निजी अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।
- अर्जुन बड़ौद ब्रिज पर जाम की स्थिति क्यों बनी?
ब्रिज का निर्माण के लिए ट्रैफिक को सर्विस लेन पर डायवर्ट कर रखा है। यहां तीन मार्ग का ट्रैफिक आने लगा है। इस वजह से सर्विस लेन पर वाहनों की संख्या बढ़ गई है और जाम लगा रहा है।
- डायवर्शन पर बड़े-बड़े गड्ढों को क्यों नहीं भरा गया?
निर्माण एजेंसी को डायवर्शन की सर्विस लेन ठीक करने के निर्देश दिए थे। गड्ढों को भरने के लिए डामरीकरण किया गया। मगर ट्रैफिक अधिक होने से तुरंत लेन को खोलना पड़ा।
- अब डायवर्शन को लेकर क्या प्लान बनाया है?
अर्जुन बडौद पर अभी एक ही डायवर्शन है। मगर यातायात को देखते हुए वाहनों को अलग-अलग दो दिशा में डायवर्ट किया जाएगा। यह प्लान शनिवार से लागू करेंगे।
- जाम और यातायात को कैसे व्यवस्थित किया जाएगा?
बायपास पर लगने वाले जाम और यातायात की समस्या से निपटने के लिए एक्शन प्लान बनाया है। इस संबंध में पुलिस विभाग के अधिकारियों से चर्चा की गई है। 50 जवान मांगे है, जिनका मानदेय एनएचएआई देगा।
शनिवार को अधिकारियों की बैठक लूंगा यह चिंता का विषय है। मैं इस मामले में अधिकारियों से सतत संपर्क में हूं। शिप्रा से बिचौली मर्दाना तक ट्रैफिक जाम की समस्या है। मैंने वरिष्ठ अधिकारियों से इस समस्या का समाधान तलाशने के लिए कहा है। मैं शनिवार को वरिष्ठ अधिकारियों की इस संबंध में बैठक भी ले रहा हूं।
तुलसीराम सिलावट, कैबिनेट मंत्री मप्र शासन
समाधान तलाशने के लिए कहा है अर्जुन बडौद में बन रहे फ्लाई ओवर की वजह से समस्या खड़ी हो रही है। मैंने अधिकारियों से कहा कि वे इस समस्या का समाधान तलाशें। राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकारी शनिवार को मौके पर जाकर देखेंगे कि क्या किया जा सकता है। मैंने पुलिस विभाग से भी कहा है कि मौके पर पर्याप्त व्यवस्था करें।
शंकर लालवानी, सांसद इंदौर