नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। धर्म विज्ञान शोध संस्थान उज्जैन के निदेशक वैभव जोशी की तालाब में डूबने से मौत हो गई। दोस्तों के साथ शराब पार्टी करने आए वैभव कमल के फूल तोड़ने के लिए तालाब में उतरे थे। फूल तोड़कर लौटते समय दलदल और कमल की बेल में फंस गए और वहीं डूब गए। जब उनका शव निकाला गया तो हाथ में कमल का फूल था, वो भगवान को कमल का फूल चढ़ाना चाहते थे।
खुड़ैल पुलिस ने मर्ग कायम कर शव का पोस्टमार्टम करवाया है। कंपेल चौकी प्रभारी सत्येंद्रसिंह सिसोदिया के मुताबिक घटना शनिवार शाम छह बजे ग्राम पेडमी स्थित मुहाड़ा घाट तालाब की है। रविशंकर नगर उज्जैन निवासी 45 वर्षीय वैभव जगदीश जोशी शनिवार को दोस्त शैलेंद्र और रितेश के साथ पार्टी करने आए थे।
तीनों पार्टी करने उदय नगर (देवास) स्थित घाट सेक्शन की ओर निकल गए। लौटने के दौरान जरूरी काम से कार रोकी तो वैभव को तालाब में कमल के फूल दिखाई दिए। उन्होंने दोस्तों से कहा कि पूजन के लिए ताजे फूल तोड़ने हैं। रोकने पर वैभव ने कहा कि वह तैरना जानता है। वैभव कमल की बेल के पास पहुंच गए और फूल तोड़ लिए, लेकिन दलदल (कीचड़) में फंस गए। उनके पैरों में कमल की बेल उलझ गई और पैर नहीं चला सके।
दोस्तों ने छटपटाते देखा और उनकी आंखों के सामने वे डूब गए। पेडमी के एक पुजारी ने ग्रामीण और पुलिस को बुलाया मगर अंधेरा अधिक होने से तालाब में नहीं जा सके। रविवार सुबह आठ बजे एसडीआरएफ व तैराक नाव लेकर तालाब में उतारे गए। करीब एक घंटे की मशक्कत के बाद वैभव का शव निकाला गया। वैभव धर्म विज्ञान शोध संस्थान के डायरेक्टर थे।
हादसे की सूचना मिलने पर रात में ही वैभव के स्वजन उज्जैन से खुड़ैल पहुंच गए। सुबह उनकी उपस्थिति में ही शव निकाला। उनके हाथ में कमल का फूल भी था। एसआई के मुताबिक तीन साल पूर्व भी एक चरवाहा की डूबने से मौत हो चुकी है। बकरियां चराने के बाद वह तैर कर उस पार जाता था। चरवाहा भी वैभव की तरह कीचड़ में फंस गया और मां के सामने ही डूब गया था।