Neet UG: नीट यूजी पर हाई कोर्ट का बड़ा फैसला, याचिका लगाने वाले 75 अभ्यर्थियों की दोबारा होगी परीक्षा
कई परीक्षा केंद्र में अंधेरा छा गया और परीक्षार्थियों को मोमबत्ती की रोशनी में परीक्षा देना पड़ी। परीक्षा के दौरान हुई अव्यवस्था को लेकर अभ्यर्थियों ने हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी। ऐसे अभ्यर्थियों की संख्या 75 के आसपास है। तीन जून को एनटीए ने नीट-यूजी की उत्तरकुंजी भी जारी कर दी। इसके बाद अचानक कई और अभ्यर्थियों ने हाई कोर्ट में याचिका दायर कर दी।
Publish Date: Mon, 30 Jun 2025 09:32:24 PM (IST)
Updated Date: Mon, 30 Jun 2025 09:47:06 PM (IST)
नीट यूजी पर कोर्ट ने दिया अहम आदेश।HighLights
- उत्तरकुंजी जारी होने से पहले जिन्होंने दायर की थी याचिका, उनकी दोबारा होगी परीक्षा।
- याचिकाकर्ता की रैंक दोबारा होने वाली परीक्षा में मिले अंकों के आधार पर मानी जाएगी
- हाई कोर्ट इंदौर ब्रांच ने एनटीए से कहा यथाशीघ्र परीक्षा आयोजित कर परिणाम घोषित करे।
नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। मप्र हाई कोर्ट की इंदौर खंडपीठ ने एमबीबीएस, बीडीएस सहित अन्य मेडिकल कोर्स में प्रवेश के लिए आयोजित होने वाली नीट-यूजी को लेकर बड़ा फैसला दिया है। कोर्ट ने नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) से कहा है कि वह परीक्षा के दौरान हुई अव्यवस्था को लेकर याचिका दायर करने वाले अभ्यर्थियों की दोबारा परीक्षा आयोजित करे। 19 पेज के फैसले में कोर्ट ने स्पष्ट किया है कि सिर्फ उन्हीं याचिकाकर्ताओं की दोबारा परीक्षा होगी जिन्होंने तीन जून को उत्तरकुंजी जारी होने से पहले याचिका दायर कर दी थी। तीन जून या इसके बाद याचिका दायर करने वालों की दोबारा परीक्षा नहीं होगी। कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया है कि याचिकाकर्ताओं की रैंक दोबारा होने वाली परीक्षा में मिले अंकों के आधार पर मानी जाएगी। कोर्ट ने एनटीए से कहा है कि वह यथाशीघ्र परीक्षा आयोजित कर परिणाम घोषित करे, ताकि काउंसलिंग शुरू हो सके।
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- एनटीए ने चार मई को पूरे देश में नीट-यूजी आयोजित की थी। इंदौर में इसके लिए 49 सेंटर बनाए गए थे। परीक्षा के दिन इंदौर में जोरदार वर्षा के चलते पूरे शहर की बिजली गुल हो गई थी।
- परीक्षा केंद्रों पर बिजली गुल होने पर कोई वैकल्पिक व्यवस्था नहीं थी। कई परीक्षा केंद्र में अंधेरा छा गया और परीक्षार्थियों को मोमबत्ती की रोशनी में परीक्षा देना पड़ी।
- परीक्षा के दौरान हुई अव्यवस्था को लेकर अभ्यर्थियों ने हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी। ऐसे अभ्यर्थियों की संख्या 75 के आसपास है।
- तीन जून को एनटीए ने नीट-यूजी की उत्तरकुंजी भी जारी कर दी। इसके बाद अचानक कई और अभ्यर्थियों ने हाई कोर्ट में याचिका दायर कर दी।
- 23 जून को इस मामले में अंतिम बहस के बाद कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया था जो सोमवार देर शाम जारी हुआ।
- कोर्ट ने माना कि गलती नहीं होने के बावजूद अभ्यर्थी बिजली कटौती के कारण असुविधाजनक स्थिति में रहे जबकि अन्य केंद्रों के अभ्यर्थी प्राकृतिक प्रकाश वाले स्थानों पर बैठे थे।
यह कहा है फैसले में
- कोर्ट ने फैसले में कहा है कि स्पष्ट किया जाता है कि यह आदेश केवल उन याचिकाकर्ताओं पर लागू होगा जिन्होंने तीन जून 2025 से पहले अपनी याचिकाएं दायर की हैं।
- इनमें वे याचिकाकर्ता भी शामिल होंगे जो उज्जैन केंद्र से शामिल हुए हैं, और वे याचिकाकर्ता भी जिनके परिणाम घोषित हो चुके हैं, लेकिन याचिकाएं तीन जून, 2025 से पहले दायर की गई थीं।
- जिन याचिकाकर्ताओं ने तीन जून 2025 को या उसके बाद याचिकाएं दायर की हैं, वे पुन: परीक्षा के हकदार नहीं होंगे, क्योंकि उन्होंने समय पर याचिका दायर न करके एक मौका लिया और उत्तरकुंजी की प्रतीक्षा की।
- अगर वे वास्तव में बिजली गुल होने के कारण अपने प्रदर्शन को लेकर चिंतित होते तो उत्तर कुंजी जारी होने से पहले याचिका दायर कर चुके होते।