बीना (नवदुनिया न्यूज)। जीआरपी क्षेत्र में बढ़ती आपराधिक घटनाओं को देखते हुए जीआरपी ने वरिष्ठ अधिकारियों को पत्र लिखकर स्टेशन आने जाने वाले वैकल्पिक रास्तों पर सीसीटीवी कैमरे लगाने की मांग की है। ट्रेनों में चोरी, लूट, छीना छपटी जैसे घटनाओं को अंजाम देने वाले आरोपित स्टेशन से बाहर जाने के इन्हीं रास्तों का उपयोग करते हैं। जीआरपी का मामना है कि यदि इन रास्तों पर सीसीटीवी कैमरे लग जाएंगे तो अपराधों की गुत्थी सुलझाने में काफी मदद मिलेगी।
जीआरपी द्वारा वरिष्ठ अधिकारियों को लिख गए पत्र में स्टेशन के आसपास छह स्थानों पर कैमरे लगाए गए हैं। इनमें से एक स्थान चार नंबर दरगाह है। यह ऐसा स्थान हैं, जहां से लोग बड़ी आसानी से स्टेशन के अंदर प्रवेश कर सकते हैं। इसके अलावा ट्रेन के प्लेटफार्म पर पहुंचने से पहले वह उतरकर इसी स्थान से निकल सकते हैं। इसी पश्चमी रेलवे कालोनी की तरफ फुट ओवर ब्रिज और लोको के बीच में करीब 200 मीटर का एरिया खाली पड़ा है। स्टेशन से बाहर जाने के लिए यह आसान रास्ता है। आपराधिक प्रवृत्ति के लोग आपराधिक घटनाओं को अंजाम देकर इन रास्तों से आसानी से निकल सकते हैं। इसी तरह भोपाल की ओर से आने वाली ट्रेन स्टेशन पहुंचने से पहले ही काफी धीमी हो जाते हैं। अपराधी चलती ट्रेनों से उतकर सुरक्षित बाहर निकल सकते हैं। इसके अलावा पुराना बस स्टैंड भी ट्रेनों में चढ़ने और उतरने के लिए सबसे सुरक्षित स्थान हैं। इसी तरह जीआरपी ने दो अन्य स्थानों पर सीसीटीवी कैमरे लगाने की मांग की है। जीआरपी का कहना है कि यदि इन स्थानों पर कैमरे लग जाएंगे तो सीसीटीवी कैमरों की मदद से यात्रियों को सामान चोरी कर भागने वालों को धरपकड़ करने में सुविधा होगी।
24 घंटे रखी जा सकेगी नजर
सीसीटीवी कैमरे लगने से अपराधों पर नियंत्रण रखने में जीआरपी को सुविधा होगी। पुलिस थाने में लगाए जाने वाले डीव्हीआर की मदद से 24 घंटे हर हरकत पर नजर रखी जा सकती है। यदि कोई चलते ट्रेन से कूदकर भाग भी जाएगा तो सीसीटीवी फुटेज के आधार पर उसकी पहचान करने में सुविधा होगी। इसके चलते जीआरपी ने सीसीटीवी कैमर लगाने की माग की है।
अधिकारियों को पत्र लिखा
बीना रेलवे स्टेशन चारों तरफ से खुला हुआ है। अपराधिक घटनाओं को अंजाम देकर अपराधी आसानी से बचकर निकल सकते हैं। यदि सागर, झांसी और भोपाल छोर की स्टेशन के बाहर सीसीटीवी कैमरें लग जाएंगे तो मामलो का खुलासा करने में सुविधा होगी। इसलिए सीसीटीवी कैमरे लगाने वरिष्ठ अधिकारियों को पत्र लिखा गया है।