
नईदुनिया प्रतिनिधि, शिवपुरी। कोतवाली थानांतर्गत श्रीराम कालोनी में किराए पर रहने वाले एक डाकिया ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। आत्महत्या के कारणों का खुलासा नहीं हो सका है। पुलिस ने मृतक के शव का पोस्टमार्टम करवा कर मर्ग कायम कर लिया है। पिता का कहना है कि उसके बेटे को डरावने सपने आते थे। वह मानसिक रूप से परेशान चल रहा था, इसी के चलते उसका उपचार चल रहा था।
मृतक ने मरने से पहले एक सुसाइड नोट लिख कर अपने पापा से इस कृत्य के लिए माफी भी मांगी है। जानकारी के अनुसार राजगढ़ निवासी नरेंद्र पुत्र जीवन जाटव उम्र 22 साल शिवपुरी श्रीराम कालोनी में एक किराए के मकान में रहता था। वह शिवपुरी डाक घर में डाकिया के पद पर पदस्थ था। वर्तमान में वह टोंगरा में ड्यूटी कर रहा था। नरेंद्र के साथ उसका छोटा भाई राहुल जाटव भी शिवपुरी में रह कर पढ़ाई करता था।
राहुल जाटव दीपावली के चलते घर चला गया था, नरेंद्र उर्फ भोला को 19 अक्टूबर की सुबह घर के लिए रवाना होना था। सुबह पिता ने फोन लगाया तो उसने नहीं उठाया। इसके बाद राहुल ने भी भाई को फोन लगाए, लेकिन नरेंद्र ने फोन अटैंड नहीं किए। राहुल को किसी अनहोने की आशंका हुई तो उसने अपने एक दोस्त आशु को कमरे पर भेजा। आशु ने राहुल को बताया कि कमरे के गेट अंदर से लगे हैं, लेकिन कोई गेट नहीं खोल रहा है।
इसके बाद राहुल के कहने पर आशु ने अंदर झांक कर देखा तो उसे कमरे में कोई नहीं दिखा। किचिन में देखा तो नरेंद्र फांसी पर लटका हुआ था। आशु ने राहुल को शिवपुरी आने के लिए कहा और अन्य लोगों को नरेंद्र के द्वारा फांसी लगाने की सूचना दी। लोगों ने 112 पर काल कर पुलिस को बुलाया। पुलिस ने कमरे के गेट तोड़े तो नरेंद्र का शव किचिन में फांसी पर लटका हुआ मिला। उसने अपने पिता को संबोधित करते हुए एक सुसाइड नोट लिखा है, जिसमें उसने लिखा है कि पापा, मुझे माफ कर दो, अब मुझसे नहीं रहा जा रहा, आपका प्यारा बेटा भानू।
बताया जा रहा है कि पुलिस ने मौके से भानू का लैपटाप भी जब्त किया है, ताकि उसके आत्महत्या करने के कारणों का खुलासा हो सके। पूर्व में भी कर चुका है आत्म्हत्या का प्रयासमृतक के पिता का कहना है कि नरेंद्र दो वर्ष पूर्व भी आत्महत्या का प्रयास कर चुका है। उस समय उसने टोंगरा में ही अपनी ड्यूटी के दौरान जहर खा लिया था। तत्समय उचित उपचार मिलने के कारण नरेंद्र की तबीयत सही हो गई थी और उसे बचा लिया गया था।