Mahakal Lok Ujjain: उज्जैन (नईदुनिया प्रतिनिधि)। ज्योतिर्लिंग महाकालेश्वर मंदिर के नव विस्तारित क्षेत्र 'महाकाल लोक' में भगवान शिव और अन्य देवी-देवताओं की 127 से अधिक विशाल मूर्तियां स्थापित हैं। 10 से 25 फीट ऊंची ये मूर्तियां लाल पत्थर और फाइबर रेनफोर्स प्लास्टिक से बनवाई हैं। कारीगरी, गुजरात की एमपी बाबरिया फर्म से जुड़े गुजरात, ओडिशा और राजस्थान के कलाकारों ने की है। ये सालों-साल धूप, गर्मी, बरसात में यूं ही बरकरार रहेंगी। इन पर जो रंग किया है, वो भी काफी पक्का है। इन पर मौसम का असर नहीं पड़ेगा। सभी मूर्तियों की स्थापना इस प्रकार की है कि कोई भी आम श्रद्धालु इन्हें छू न पाए।
महाकाल लोक में भगवान शिव के आठ स्वरूपों (शर्व, भव, रुद्र, उग्र, भीम, पशुपति, ईशान और महादेव) के दर्शन होंगे। अन्य मूर्तियां सनातन धर्म, संस्कृति और पर्यावरण संरक्षण का संदेश देती हैं। यहीं साकार स्वरूप में सप्त ऋषियों, नवग्रह की मूर्तियां भी स्थापित हैं। सभी मूर्तियों के नीचे क्यूआर कोड होगा, जिसे मोबाइल से स्कैन करने पर आप मूर्ति और शिव महापुराण में उल्लेखित घटना का संदर्भ हिंदी, अंग्रेजी, गुजराती, मराठी में देख-सुन पाएंगे। बता दें कि 11 अक्टूबर को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी महाकाल लोक का लोकार्पण करेंगे।
इन पर जो रंग किया है, वो भी काफी पक्का है। इन पर मौसम का असर नहीं पड़ेगा। सभी मूर्तियों की स्थापना इस प्रकार की है कि कोई भी आम श्रद्धालु इन्हें छू न पाए। महाकाल लोक में भगवान शिव के आठ स्वरूपों (शर्व, भव, रुद्र, उग्र, भीम, पशुपति, ईशान और महादेव) के दर्शन होंगे। अन्य मूर्तियां सनातन धर्म, संस्कृति और पर्यावरण संरक्षण का संदेश देती हैं। यहीं साकार स्वरूप में सप्त ऋषियों, नवग्रह की मूर्तियां भी स्थापित हैं। सभी मूर्तियों के नीचे क्यूआर कोड होगा, जिसे मोबाइल से स्कैन करने पर आप मूर्ति और शिव महापुराण में उल्लेखित घटना का संदर्भ हिंदी, अंग्रेजी, गुजराती, मराठी में देख-सुन पाएंगे। बता दें कि 11 अक्टूबर को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी महाकाल लोक का लोकार्पण करेंगे।