
Ujjain Mahakaleshwar Jyotirlinga: उज्जैन (नईदुनिया प्रतिनिधि)। पूर्व मुख्यमंत्री और राज्यसभा सदस्य दिग्विजयसिंह व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया द्वारा एक-दूसरे पर बाबा महाकाल का नाम लेकर की गई टिप्पणी से महाकाल मंदिर के पुजारी खुश नहीं हैं। पुजारियों का कहना है कि इस तरह भगवान का नाम लेकर राजनीतिक बयानबाजी करना ठीक नहीं है। पुजारियों का कहना है कि बाबा महाकाल सबका कल्याण करते हैं। नेताओं द्वारा की जा रही इस तरह की टिप्पणी पर मंदिर के पुजारी प्रदीप गुरु का कहना है कि महाकाल के लिए राजा और रंक एक समान हैं। राजनेताओं को अपने हितों के लिए महाकाल का नाम लेकर गलत बयानबाजी करना शोभा नहीं देता। बाबा महाकाल सबका कल्याण करते हैं न कि बुरा।
तीर्थ पुरोहित पं. देवकीनंदन द्विवेदी का कहना है कि कोई कुछ भी कहे, यह उनकी निजी भावना है, बाबा महाकाल सबकी रक्षा करने वाले, सबका कल्याण करने वाले हैं। महाकाल से किसी के लिए बद्दुआ मांगने से कुछ नहीं होता है। पं. रमन त्रिवेदी के मुताबिक राजनीति में महाकाल के नाम का उपयोग कर इस तरह की बयानबाजी करना ठीक नहीं है।
उज्जैन (नईदुनिया प्रतिनिधि)। प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह स्थानीय कांग्रेस नेताओं के साथ दो दिनी राजनीतिक मंथन करने के बाद शाजापुर रवाना हो गए। इस दौरान उन्होंने सभी नेताओं, कार्यकर्ताओं को कई सीख दी। कहा कि एक दूसरे की काट न करें। अपनी-अपनी टीम से जो फीडबैक, डेटा मिल रहा है उससे एक दूसरे के साथ साझा करें। पार्टी अपने स्तर पर सर्वे करा रही है। जो सक्रिय होगा, उसे टिकट मिलेगा। अगर किसी की शिकायत मिली तो संगठन उस पर कार्रवाई करेगा।
हम एकजुट होकर लड़े तो जीत पक्की है।उल्लेखनीय है कि दिग्विजय सिंह शुक्रवार को उज्जैन आए थे। वे शनिवार को भी स्थानीय नेताओं के साथ विभिन्न बैठकों, आयोजनों में शामिल हुए। उन्होंने पूरे जिले के राजनीतिक समीकरणों के हाल जाने। नेताओं से फीडबैक लिया। अपने सुझाव दिए और सभी से कहा कि इस बार पूरी ताकत के साथ सभी को मिलजुलकर चुनाव लड़ना है। बूथ स्तर पर बेहतर काम करने के लिए बेहतर टीम तैयार करें। अगर किसी ने किसी की काट नहीं की तो इस बार हमें कोई नहीं हरा सकता।
आखिर ऐसा क्यों कहा
बीते विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का प्रदर्शन भाजपा की तुलना में बेहतर रहा था। जिले की सात विधानसभा सीटों में से चार (नागदा-खाचरौद, तराना, घट्टिया, बड़नगर) पर कांग्रेस जीती थी, वहीं भाजपा को तीन सीटों (उज्जैन उत्तर, उज्जैन दक्षिण और महिदपुर) पर संतोष करना पड़ा था। इस बार कांग्रेस उत्तर, दक्षिण और महिदपुर सीटों पर खास फोकस कर रही है।
पिछले नगर निगम चुनाव में कांग्रेस ने बीजेपी को कड़ी टक्कर दी थी। कांग्रेस के महापौर प्रत्याशी महेश परमार केवल 736 वोटों से हारे थे। समीक्षा के दौरान यह पता लगा था कि शहर के कुछ कांग्रेस नेताओं ने परमार का साथ नहीं दिया था। इसलिए पार्टी को हार मिली। इस पर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने संबंधित नेताओं को नोटिस भी जारी किए थे। इन्हीं सब समीकरणों को देखते हुए दिग्विजय सिंह ने यह मूल मंत्र पार्टी के सभी नेताओं और कार्यकर्ताओं को दिया है।
दिग्विजय सिंह ने चेतावनी भी दी है। सूत्रों के अनुसार एक बैठक में उन्होंने कहा कि पार्टी अपना गुप्त सर्वे भी करा रही है। सक्रिय नेताओं को अवसर दिया जाएगा। नए चेहरों को भी टिकट देंगे। अगर किसी की शिकायत आई तो संगठन कार्रवाई से भी गुरेज नहीं करेगा। दिग्विजय सिंह के दौरे के बाद शहर कांग्रेस अध्यक्ष रवि भदौरिया ने कहा है कि इस बार पार्टी पूरी ताकत और एकजुटता के साथ चुनाव लड़ेगी।