डिजिटल डेस्क। देशभर में प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना के तहत अब तक 20 लाख से अधिक घरों की छतों पर सोलर सिस्टम लगाए जा चुके हैं। नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री प्रह्लाद जोशी ने गुरुवार को जानकारी दी कि बहुत जल्द 30 लाख और घरों में यह सुविधा जोड़ी जाएगी। कुल लक्ष्य एक करोड़ घरों तक सोलर सिस्टम पहुंचाने का है।
प्रह्लाद जोशी ने बताया कि अब तक 20 लाख घरों में सोलर सिस्टम लगाया जा चुका है और जल्द ही 30 लाख और जुड़ जाएंगे। उन्होंने कहा कि हमारा लक्ष्य एक करोड़ परिवारों तक सोलर सिस्टम पहुंचाना है। यह देश को दीर्घकालिक ऊर्जा स्थिरता की ओर ले जाएगा।
मंत्री ने बताया कि जिन लोगों के पास छत नहीं है, उनके लिए यूटिलिटी-लेड मॉडल को मंजूरी दी गई है। कुछ राज्यों खासकर आंध्र प्रदेश ने इस मॉडल को तेजी से लागू करने की योजना बनाई है। इस व्यवस्था से किरायेदार और अन्य लाभार्थी भी योजना का फायदा उठा सकेंगे।
मंत्री ने कहा कि योजना के तहत आधे से अधिक लाभार्थी परिवारों को शून्य बिजली बिल मिल रहा है। यह आम नागरिकों को राहत दे रहा है। उन्होंने सभी राज्यों से आह्वान किया कि वे इस योजना को और सक्रिय रूप से आगे बढ़ाएं।
भारत ने 2030 तक 550 गीगावाट नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता का लक्ष्य तय किया है। अब तक 251.5 गीगावाट क्षमता हासिल हो चुकी है, जबकि अगले पांच वर्षों में 248 गीगावाट और जोड़ना है। देश में 100 गीगावाट सोलर मॉड्यूल उत्पादन क्षमता स्थापित की गई है, जिसमें करीब 50,000 करोड़ रुपये का निवेश हुआ और 12,600 से अधिक लोगों को रोजगार मिला है।
मंत्री ने कहा कि 2028 तक स्वदेशी सोलर सेल बनाने का लक्ष्य है। अब भारत स्वदेशी वेफर्स और इंगॉट्स की ओर भी बढ़ रहा है। इससे संपूर्ण सौर वैल्यू चेन देश में ही विकसित होगी।
पीएम-कुसुम योजना के दूसरे चरण को लेकर भी काम जारी है। वर्तमान चरण मार्च 2026 में समाप्त होगा। इसके बाद नया चरण शुरू किया जाएगा।
हाल ही में सरकार ने नवीकरणीय ऊर्जा उपकरणों और सेवाओं पर जीएसटी को 12% से घटाकर 5% कर दिया है। इससे सोलर उपकरण, विंडमिल, बायोगैस और वेस्ट-टू-एनर्जी सिस्टम अब और सस्ते हो गए हैं। मंत्री ने कहा कि राज्यों को इस अवसर का पूरा उपयोग करना चाहिए।