डिजिटल डेस्क, इंदौर: लद्दाख के लेह में हुए विरोध प्रदर्शन के बाद जलवायु कार्यकर्ता सोनम वांगचूक के खिलाफ सरकार ने कड़े कदम उठाए हैं। सोनम वांगचुक को राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (National Security Act) के तहत गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तारी के बाद सोनम को कुछ घंटों के भीतर राजस्थान के जोधपुर सेंट्रल जेल भेज दिया गया है।
बता दें कि सोनम वांगचूक को गिरफ्तार करने के बाद से ही लेह में इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई थी। ऐसी जानकारी सामने आ रही थी कि वांगचूक को जल्द ही लद्दाख से बाहर लेकर जाया जा सकता है। NSA के मामले में प्रावधान है कि जिस व्यक्ति पर यह धारा लगाई जाती है, उसे बिना लंबी अवधि के लिए एहतियातन हिरासत में रखा जा सकता है ।
दरअसल, सोनम वांगचूक पर लेह में हिंसा भड़काने के मामले में एफआईआर दर्ज है। जिसके बाद सोनम ने केंद्र सरकार को धमकी दी थी कि यदि उन्हें गिरफ्तार किया गया तो, मुश्किलें और बढेंगीं। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, वांगचुक को लद्दाख पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) एसडी सिंह के नेतृत्व वाली टीम ने उनके घर से गिरफ्तार किया। जिसके बाद उन्हें जोधपुर जेल भेजा गया है।
वांगचूक पर हिंसा भड़काने के अलावा नियमों का उल्लंघन कर विदेश से चंदा लेने का आरोप है। इसी आरोप के आधार पर केंद्र सरकार ने गुरुवार को उनकी संस्था का विदेशी फंडिंग का लाइसेंस भी रद्द कर दिया है। वांगचूक स्टूडेंट्स एजुकेशनल एंड कल्चरल मूवमेंट ऑफ लद्दाख (एसईसीएमओएल) नाम की एक संस्था चलाते हैं, जिसमें विदेशों से भी फंडिंग आती है।
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गौरतलब है कि लद्दाख को पूर्ण राज्य बनाने की मांग को लेकर राजधानी लेह में विरोध प्रदर्शन ने उग्र हिंसा का रूप ले लिया था, जिसमें 4 लोगों की मौत हो गई है। इसे लेकर ही सोनम वांगचूक के खिलाफ हिंसा भड़काने को लेकर एफआईआर किया गया है। वहीं लेह में स्थिति को नियंत्रण में रखने के लिए तीसरे दिन भी निषेधाज्ञा लागू है। साथ ही एहतियात के तौर पर इंटरनेट सेवाएं बंद रखी गई हैं।