कटनी(मध्यप्रदेश)। अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट खिलाड़ी और सामने वाली टीम के छक्के छुड़ा देने वाले विराट कोहली का शहर से गहरा नाता है। भारत की जीत के लिए अधिकांश मैचों में उत्कृष्ठ खेल का प्रदर्शन कर अहम भूमिका निभाने वाले विराट कोहली के पूर्वज पाकिस्तान से 1947 में कटनी में आए थे। हालांकि उनके पिता प्रेम कोहली 1961 में परिवार को लेकर दिल्ली चले गए थे।
लेकिन उनके चाचा-चाची अभी भी शहर में ही रहते हैं। उनकी चाची आशा कोहली शहर की महापौर भी रही चुकी है। पूर्व महापौर और विराट कोहली की चाची कहती हैं कि जब विराट क्रिकेट खेलकर रन बनाता है तब उन्हें बहुत खुशी मिलती है, उनके परिवार का एक सदस्य भारत के लिए खेलता है और जीत में अहम भूमिका निभाता है।
2005 में आए थे विराट
वर्ष 1961 में विराट के पिता प्रेम कोहली परविार को लेकर दिल्ली चले गए थे। इस बीच 2005 में विराट कोहली कटनी में अपने चाचा गिरीश कोहली और चाची आशा कोहली के यहां पर आए थे। हालांकि उस दौरान विराट की उम्र 17 वर्ष थी और वे अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर क्रिकेट नहीं खेल रहे थे। 2005 के बाद विराट कोहली शहर नहीं आए, लेकिन उनके परिवार की यादें आज भी कोहली परिवार में जीवंत हैं। विराट को अच्छा खेलते हुए देखकर गर्व महसूस करते हैं। चाचा गिरीश कोहली ने बताया कि विराट का जन्म दिल्ली में हुआ था।
ऐसे ही खेले मेरा भाई
गिरीश कोहली और आशा कोहली के बेटे रूपक कोहली जो विराट का छोटा भाई है। रुपक कोहली कहता है कि जब भाई विराट पिच पर खड़ा रहता है तो सामने वाली टीम का हौसला आधा हो जाता है और फिर एक बाद एक शानदार शॉट के तो क्या कहने।
विराट भाई पिच पर रहते हैं तो हारते हुए मैच को भी जीतने की उम्मीद देशवासियों को रहती है। हाल ही 20-20 मैच में अस्ट्रेलिया टीम की हार और भारत की जीत में विराट कोहली का अहम योगदान था। अच्छा लगता है जब विराट भाई उत्कृष्ट खेल का प्रदर्शन करते हैं, हमें ही नहीं पूरे देश को उन पर गर्व है। उत्कृष्ठ प्रदर्शन करते हुए विराट कोहली द्वारा कई मैच जीताए गए हैं।