
धर्म डेस्क: 16 दिसंबर को सूर्यदेव का धनु राशि में गोचर हो (Surya Gochar 2025) चुका है, जिसके साथ ही खरमास आरंभ हो गया है। खरमास के दौरान विवाह, गृह प्रवेश जैसे शुभ कार्य नहीं किए जाते। सूर्य का यह गोचर सभी राशियों के जीवन में अलग-अलग प्रभाव लेकर आएगा, जिसका असर पारिवारिक रिश्तों, धन और मानसिक स्थिति पर भी स्पष्ट रूप से दिखेगा।
सूर्य आपके पंचम भाव के स्वामी होकर नवम भाव से गोचर कर रहे हैं। यह स्थिति भाग्य, उच्च शिक्षा, धर्म और आध्यात्मिक गतिविधियों को बल प्रदान करेगी। गुरुजनों से मार्गदर्शन मिलने की संभावना है। धार्मिक यात्रा या अध्ययन की ओर झुकाव बढ़ सकता है। सूर्य की दृष्टि तृतीय भाव पर रहने से साहस और संवाद क्षमता मजबूत होगी, हालांकि भाई-बहनों के साथ अहंकार के कारण मतभेद हो सकते हैं।
उपाय: प्रतिदिन प्रातः उगते सूर्य को जल अर्पित करें और गायत्री मंत्र का जाप करें।
इस गोचर में सूर्य चतुर्थ भाव के स्वामी होकर अष्टम भाव में स्थित हैं। इससे धन, विरासत या भावनात्मक जीवन में अचानक परिवर्तन संभव है। सूर्य की दृष्टि द्वितीय भाव पर पड़ने से वाणी, बचत और पारिवारिक मामलों पर असर दिख सकता है। धन संबंधी निर्णय सोच-समझकर लें और कटु भाषा से बचें।
उपाय: रविवार के दिन गेहूं या गुड़ का दान करें।
सूर्य तृतीय भाव के स्वामी होकर सप्तम भाव से गोचर कर रहे हैं। यह समय वैवाहिक और व्यावसायिक साझेदारियों में संतुलन बनाने का है। यदि अहंकार पर नियंत्रण रखा जाए, तो साझेदारी से मान-सम्मान और पहचान मिल सकती है। सूर्य की दृष्टि लग्न भाव पर होने से आत्मविश्वास बढ़ेगा, लेकिन आपका व्यवहार कुछ लोगों को कठोर लग सकता है।
उपाय: विनम्रता बनाए रखें और रविवार को सूर्यदेव को लाल फूल अर्पित करें।
सूर्य द्वितीय भाव के स्वामी होकर षष्ठ भाव से गोचर कर रहे हैं। यह समय प्रतिस्पर्धियों पर विजय, ऋण से मुक्ति और कार्यक्षेत्र में सुधार का संकेत देता है। सूर्य की दृष्टि द्वादश भाव पर रहने से स्वास्थ्य, यात्रा या दान से जुड़े खर्च बढ़ सकते हैं। आय और व्यय के बीच संतुलन बनाए रखना आवश्यक होगा।
उपाय: आर्थिक मजबूती के लिए आदित्य हृदय स्तोत्र का नियमित पाठ करें।