Akshaya Tritiya 2021: अक्षय तृतीया पर बन रहा है रोहिणी नक्षत्र, अबूझ मुहूर्त इन कामों में दिलाएगा सफलता
Akshaya Tritiya 2021: अक्षय तृतीया के दिन ही दिन श्री बद्रीनारायण जी के पट खुलते हैं। इस तिथि से ही गौरी व्रत की शुरुआत होती।
By Arvind Dubey
Edited By: Arvind Dubey
Publish Date: Mon, 10 May 2021 09:30:18 AM (IST)
Updated Date: Mon, 10 May 2021 09:31:28 AM (IST)

Akshaya Tritiya 2021: इस साल अक्षय तृतीया की तिथि 14 मई यानी शुक्रवार के दिन है। इसी दिन रोहिणी नक्षत्र भी। इसके अलावा इस बार अक्षय तृतीया पर लक्ष्मीनारायण और गजकेसरी योग भी हैं। माना जाता है कि इस तिथि से ही सतयुग और त्रेतायुग की शुरुआत हुई थी। अक्षय तृतीया पर किया गया जप, तप, ज्ञान, स्नान, दान, होम आदि अक्षय रहते हैं। इसी कारण इसे अक्षय तृतीया कहा जाता है। भगवान नर और नारायण ने भी इसी दिन अवतार लिया था। ज्योतिष इसे अबूझ मुहूर्त भी कहते हैं। इसी दिन भगवान परशुराम का जन्म हुआ था। इस वजह से इसे परशुराम तीज भी कहते हैं।
अक्षय तृतीया के दिन ही दिन श्री बद्रीनारायण जी के पट खुलते हैं। इस मौके पर तिल सहित कुशों के जल से पितरों को जलदान करने से उनकी अनंत काल तक तृप्ति होती है। इस तिथि से ही गौरी व्रत की शुरुआत होती है। गौरी व्रत रखने से अखंड सौभाग्य और समृद्धि मिलती है। अक्षय तृतीया पर गंगास्नान का भी बड़ा महत्व है। इस दिन गंगा स्नान करने या घर पर ही पानी में गंगाजल मिलाकर नहाने से पाप से छुटकारा मिलता है।
ब्राह्मणों को दान करने से मिलता है अक्षय पुण्य
अक्षय तृतीया के दिन ब्राह्मणों को घड़ी, कलश, पंखा, छाता, चावल, दाल, घी, चीनी, फल, वस्त्र, सत्तू, ककड़ी, खरबूजा और दक्षिणा धर्मस्थान या ब्राह्मणों को दान करने से अक्षय पुण्य फल मिलता है। अबूझ मुहूर्त होने के कारण अक्षय तृतीया का दिन नूतन गृह निर्माण, गृह प्रवेश, देव प्रतिष्ठा जैसे शुभ कामों के लिए खास माना जाता है।