Sawan Purnima 2023: श्रावण पूर्णिमा पर बनेगा प्रीति और आयुष्मान योग, जानें क्या है पूजा का शुभ मुहूर्त
Sawan Purnima 2023 पहला शुभ योग है प्रीति योग और दूसरा आयुष्मान योग। साथ ही, उत्तराषाढ़ नक्षत्र का भी निर्माण हो रहा है।
By Sandeep Chourey
Edited By: Sandeep Chourey
Publish Date: Thu, 27 Jul 2023 03:30:13 PM (IST)
Updated Date: Thu, 27 Jul 2023 03:30:13 PM (IST)
Sawan Purnima 2023 इस बार सावन पूर्णिमा पर दो खास संयोग बन रहे हैं, जो शुभ फल देंगे Sawan Purnima 2023। हिंदू धर्म में जहां सावन माह का विशेष महत्व है। सावन मास में हर सोमवार को जहां भक्त बाबा भोलेनाथ की आराधना करते हैं, वहीं दूसरी ओर सावन महीने में आने वाली पूर्णिमा तिथि को भगवान सत्यनारायण की पूजा की जाती है। पौराणिक मान्यता के अनुसार, सावन माह में देवी-देवताओं की उपासना करने से मनोकामना पूरी होती है। इस साल सावन मास 59 दिनों का होने के कारण दो अमावस्या तिथि और दो पूर्णिमा तिथि पड़ रही है। पंडित चंद्रशेखर मलतारे के मुताबिक, इस बार सावन पूर्णिमा पर दो खास संयोग बन रहे हैं, जो शुभ फल देंगे। जानें हिंदू धर्म में क्या है सावन पूर्णिमा का धार्मिक महत्व
कब मनाई जाएगी सावन पूर्णिमा
हिंदू पंचांग के अनुसार, श्रावण अधिक शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि 01 अगस्त को सुबह 05.21 मिनट से शुरू होगी और 02 अगस्त सुबह 1.31 मिनट पर खत्म होगी। पंचांग के अनुसार,
श्रावण अधिक पूर्णिमा व्रत 01 अगस्त 2023, मंगलवार के दिन रखा जाएगा। 1 अगस्त को ही तीसरा मंगला गौरी व्रत भी रखा जाएगा।
इसलिए रखते हैं सावन अधिक पूर्णिमा व्रत
श्रावण मास में प्रथम पूर्णिमा तिथि के दिन पूर्णिमा व्रत और मंगला गौरी व्रत का अत्यंत शुभ संयोग बन रहा है और इस दिन पवित्र नदियों में स्नान के साथ-साथ दान और पूजा-पाठ का विशेष महत्व है। पौराणिक मान्यता है कि विधि-विधान के साथ पूजा करने से माता पार्वती और भगवान शिव प्रसन्न होते हैं और सौभाग्य की प्राप्ति होती है। जीवन में सुख-समृद्धि आती है।
सावन अधिक पूर्णिमा की पूजा का शुभ मुहूर्त
पंडित चंद्रशेखर मलतारे के मुताबिक, श्रावण पूर्णिमा तिथि के दिन दो शुभ संयोग निर्मित हो रहे हैं। पहला शुभ योग है प्रीति योग और दूसरा आयुष्मान योग। साथ ही, उत्तराषाढ़ नक्षत्र का भी निर्माण हो रहा है। पंचांग के अनुसार, प्रीति योग रात्रि 08.23 मिनट तक रहेगा और इसके तत्काल बाद आयुष्मान योग शुरू हो जाएगा। उत्तराषाढ़ा नक्षत्र शाम 05.33 मिनट तक रहेगा।
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