महान रामभक्त के नाम से जाने वाले गोस्वामी तुलसीदास ने 16वीं सदी में हनुमान चालीसा को लिखा था। इसमें हनुमान जी के कार्य और गुणों का उल्लेख मिलता है।
हनुमान चालीसा का पाठ करने वालों को जीवन के कुछ अमूल्य सीख भी मिलती है। अगर इन्हें अपने स्वभाव में शामिल कर लिया जाए तो बेहतरीन ढंग से जीवन यापन किया जा सकता है।
हनुमान के व्यक्तित्व से हम विनम्र रहने की सीख ले सकते हैं। शक्तिशाली होने के बाद भी उन्होंने कई मामलों में विनम्रता का परिचय दिया है।
हनुमान चालीसा को पढ़ने से साहस और शक्ति का महत्व आसानी से समझा जा सकता है। इतना ही नहीं, हनुमान जी से यह भी सीख ले सकते हैं कि शक्ति का इस्तेमाल कहां करना चाहिए।
हनुमान जी को देखकर आप यह भी समझ सकते हैं कि व्यक्ति को जल्दी सोचने से क्या फायदे होते हैं। हनुमान चालीसा में भी उनके सोचने की क्षमता के उदाहरण मिलते हैं।
भगवान राम के प्रति हनुमान जी की भक्ति और समर्पण किसी परिचय की मोहताज नहीं है। इससे आप अपने माता-पिता के प्रति समर्पण की भावना सीख सकते हैं।
आज के समय में व्यक्ति क्रोध में आकर सबसे पहले विवेक खो बैठते हैं। हालांकि, हनुमान जी ने क्रोध में भी विवेक और ज्ञान का इस्तेमाल किया था।
यहां दी गई तमाम जानकारी सामान्य और धार्मिक मान्यताओं पर आधारित हैं। हमारी तरफ से उपरोक्त सूचना की पुष्टि करना संभव नहीं है।
यहां हमने जाना कि हनुमान चालीसा हमे जिंदगी की क्या सीख देती हैं। इस तरह की अन्य धर्म और अध्यात्म से जुड़ी खबरों को पढ़ने के लिए जुड़े रहें naidunia.com के साथ