पहली बार रख रहे हैं छठ का व्रत, करें इन नियमों का पालन


By Shivansh Shekhar16, Nov 2023 02:30 PMnaidunia.com

छठ पूजा का पर्व

छठ पूजा का त्योहार बहुत ही पावन होता है। इस व्रत के दौरान महिलाएं 36 घंटे तक निर्जला व्रत रखती हैं और सूर्यदेव की आराधना करती हैं।

दिवाली के छठे दिन

दिवाली के ठीक छठे दिन यह महापर्व मनाया जाता है। इसलिए इस बार यह त्योहार 18 नवंबर 2023 को मनाया जाएगा। इसकी महानता काफी ज्यादा होती है।

गंगा घाट पर अर्घ्य

इस व्रत में व्रती लोग शाम और सुबह के समय गंगा घाट पर छठी मैया को अर्घ्य देती हैं और अपने पुत्र के लिए वरदान मांगती हैं।

छठ का प्रसाद

इस त्यौहार में महिलाएं अपने परिवार के लोगों की मदद से खजूर बनाती हैं। यह खजूर इस त्यौहार का मुख्य प्रसाद होता है।

डलीया में समान

घाट पर जाने से पहले डलिया में खजूर का प्रसाद के साथ केला, सिंघाड़ा, नारियल, गन्ना, बड़ा वाला नींबू, सुपारी आदि चीज़ें रखी जाती है।

डलीया में समान

घाट पर जाने से पहले डलिया में खजूर का प्रसाद के साथ केला, सिंघाड़ा, नारियल, गन्ना, बड़ा वाला नींबू, सुपारी आदि चीज़ें रखी जाती है।

सूर्य देव की पूजा

यह एकलौता ऐसा पर्व है जिसमें भगवान सूर्य देव को अर्घ्य दिया जाता है और शाम डूबते हुए सूर्य और सुबह उगते हुए सूर्य को अर्घ्य देते हैं।

अर्घ्य के बाद खत्म

इस व्रत में महिलाएं सुबह के अर्घ्य देने के बाद अपना व्रत खोलती हैं और फल यानी प्रसाद सबसे पहले ग्रहण करती हैं।

मायके से शुरुआत

ज्यादातर महिलाएं जो यह व्रत करती हैं वो अपने मायके से ही शुरू करती हैं। बहुत सी महिलाएं पहली बार छठ करते समय कोशी को भरती हैं।

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