करवा चौथ का व्रत सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र के लिए रखती है। आइए जानते हैं इस व्रत से जुड़ी कुछ खास बातें और मान्यताओं के बारे में।
करवा चौथ पर महिलाएं निर्जला व्रत रखती है। इस व्रत में महिलाएं माता पार्वती और भगवानी शिव की विधिपूर्वक पूजा करती और चांद का अर्घ्य देने के बाद ही अपना व्रत तोड़ती हैं।
इस व्रत के दिन सुहागिन महिलाओं को लाल, गुलाबी, पीला, हरा और नारंगी रंग के कपड़े पहनना शुभ माना जाता हैं। लाल रंग की साड़ी पहनना सबसे शुभ माना गया हैं।
महिलाओं के लिए लाल रंग सुहाग का रंग होता। इस दिन लाल रंग की साड़ी पहनना बेहद शुभ माना गया है। नई दुल्हनों करवा चौथ पर शादी का जोड़ा पहनना चाहिए।
करवा चौथ के दिन गलती से भी काले रंग की साड़ी न पहने। शुभ मौकों पर महिलाओं और लड़कियों को काले रंग के वस्त्र धारण करने से बचना चाहिए।
लाल रंग की साड़ी पति और पत्नी के बीच के प्यार की गहराई का प्रतीक होता है। लाल रंग प्रेम, जुनून और वैवाहिक सुख का करता है।
सफेद रंग को शांति का प्रतीक माना जाता है। लेकिन सुहागिन महिलाओं को सफेद रंग नहीं पहनना चाहिए, करवा चौथ के दिन तो यह रंग बिल्कुल भी नहीं पहनना चाहिए।
करवा चौथ के दिन महिलाओं और औरतें सोलह श्रृंगार करती है। इस दिन महिलाओं को साड़ी, ज्वेलरी, और श्रृंगार की अन्य सामग्रियों का खास ख्याल रखती हैं।