न्यायिक अधिकारी के पिता के निधन पर मुक्तिधाम पहुंचे जज ने देखी बदहाली, सरकार से कहा अंतिम संस्कार गरिमापूर्ण हो
दरअसल हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस रमेश कुमार सिन्हा 29 सितंबर 2025 को बिलासपुर के बिल्हा मुक्तिधाम पहुंचे थे। जहां उन्होंने चारों तरफ अव्यवस्था और गंदगी देखी। वे किसी न्यायिक अधिकारी के पिता के निधन पर पहुंचे थे। इसके बाद उन्होंने इस बदहाली पर संज्ञान लिया।
Publish Date: Mon, 08 Dec 2025 09:35:52 PM (IST)
Updated Date: Mon, 08 Dec 2025 09:41:47 PM (IST)
छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट।HighLights
- मुक्तिधामों पर सभी जिलों के कलेक्टर को फोटोग्राफ सहित रिपोर्ट पेश करने के निर्देश।
- इसके साथ ही बिलासपुर निगम कमिश्नर को शपथ पत्र में जवाब पेश करने कहा गया है।
- कोर्ट ने मुख्य सचिव को आदेश का कंप्लायंस रिपोर्ट की मानिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं।
नईदुनिया प्रतिनिधि, बिलासपुर। हाई कोर्ट ने प्रदेश भर के बदहाल मुक्तिधामों पर सभी जिलों के कलेक्टर से फोटोग्राफ सहित रिपोर्ट मांगी थी। यह रिपोर्ट हाई कोर्ट में पेश कर दी गई है। अब कोर्ट ने मुख्य सचिव को अपने आदेश का कंप्लायंस रिपोर्ट की मानिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही बिलासपुर निगम कमिश्नर को शपथ पत्र में जवाब पेश करने कहा गया है। अगली सुनवाई जनवरी में रखी गई है।
राज्य शासन की ओर से कहा गया है कि मुक्तिधामों के रखरखाव के लिए विस्तृत दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं। इनमें साफ-सफाई, ग्रीन फेंसिंग या कंटीले तार से बाउंड्री, शेड की मरम्मत, बिजली, पानी और पुरुष-महिला के लिए अलग शौचालय जैसी सुविधाएं शामिल हैं।
सोमवार को सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा और जस्टिस एके प्रसाद की डिवीजन बेंच ने कहा कि गरिमापूर्ण अंतिम संस्कार संविधान के तहत जीने के अधिकार का हिस्सा है, इसलिए सरकार की जिम्मेदारी है कि हर मुक्तिधाम में मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराई जाए।
दरअसल हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस रमेश कुमार सिन्हा 29 सितंबर 2025 को बिलासपुर के बिल्हा मुक्तिधाम पहुंचे थे। जहां उन्होंने चारों तरफ अव्यवस्था और गंदगी देखी। वे किसी न्यायिक अधिकारी के पिता के निधन पर पहुंचे थे। इसके बाद उन्होंने इस बदहाली पर संज्ञान लिया।
बीते सुनवाई में मुख्य सचिव, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के सचिव और कलेक्टर बिलासपुर ने इस मामले में अपने-अपने शपथपत्र (हलफनामा) प्रस्तुत किया था। साथ ही पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग और शहरी प्रशासन विभाग ने छह अक्टूबर और आठ अक्टूबर 2025 को इस संबंध में राज्यव्यापी निर्देश जारी किए हैं। इस पर डिवीजन बेंच ने कहा कि केवल निर्देश जारी करने से काम नहीं चलेगा।
मुक्तिधाम में बुनियादी सुविधाएं तक नहीं
- ध्यान रहे कि चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा 29 सितंबर को रहंगी में एक अंतिम संस्कार में शामिल हुए थे। इस दौरान उन्होंने मुक्तिधाम की अव्यवस्था देखकर हैरानी जताई थी।
- मुक्तिधाम में बुनियादी सुविधाएं तक नहीं थीं। यहां पहुंचने कोई रास्ता भी नहीं था। पानी, बैठने के कोई इंतजाम भी नहीं दिखे।
- जिस पर हाई कोर्ट ने इस अव्यवस्था को जनहित याचिका मानकर राज्य सरकार, जिला प्रशासन और ग्राम पंचायत को तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए थे।
- इसके बाद रहंगी मुक्तिधाम की दशा पर बिलासपुर कलेक्टर ने शपथ पत्र दिया। इसमें बताया गया कि रहंगी मुक्तिधाम में तुरंत सुधार कार्य किया गया है।
- स्वच्छ भारत मिशन के तहत बने हाल को खाली कर प्रतीक्षालय में बदला गया है। पीने के पानी की व्यवस्था की गई है और अंतिम संस्कार प्लेटफार्म की मरम्मत कराई गई।
- इसके अलावा मुख्य सड़क से मुक्तिधाम तक सीसी रोड बनाने के लिए 10 लाख रुपये की प्रशासनिक स्वीकृति भी दी गई है।