संदीप तिवारी, नईदुनिया रायपुर: प्रदेश में मतांतरण को लेकर समाज में जागरुकता बढ़ी है, जिससे बीते डेढ़ साल में इसके दोगुने मामले सामने आए हैं। भाजपा सरकार के कार्यकाल में इस मुद्दे पर पुलिस और प्रशासन ने सख्त रवैया अपनाया है।
दुर्ग रेलवे स्टेशन पर शुक्रवार सुबह माओवादी हिंसा प्रभावित नारायणपुर जिले की तीन आदिवासी युवतियों की मानव तस्करी के लिए ट्रेन से आगरा ले जाने की तैयारी थी। बजरंग दल कार्यकर्ताओं के हंगामे के बाद जीआरपी ने आरोपित आगरा की नन प्रीति मेरी, वंदना फ्रांसिस और युवक सुखमन मंडावी के विरुद्ध मानव तस्करी व मतांतरण का जुर्म दर्ज किया था। सभी को गिरफ्तार कर आठ दिन की न्यायिक हिरासत में जेल दिया गया है।
धार्मिक प्रचार के साथ-साथ गरीब परिवारों को पैसा, खाद्यान्न, कपड़े, शिक्षा और स्वास्थ्य सहायता का लालच भी दिया जाता है। कई मिशनरी संगठन शिक्षण संस्थानों, अस्पतालों को टारगेट करते हैं।
प्रदेश में मतांतरण हमेशा से एक बड़ा राजनीतिक मुद्दा रहा है। इसे लिए पक्ष-विपक्ष की सियासत और बयानबाजी हमेशा जारी रहती है। एक बार फिर मतांतरण को लेकर कांग्रेस की ओर से भाजपा सरकार पर आरोप लगाए गए हैं।
भाजपा सरकार मतांतरण रोकने में विफल रही है। सत्ता में आते समय इन्होंने कड़ा कानून लाने का वादा किया था, लेकिन अब वो कहां है?
- धनेंद्र साहू, पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष
वहीं भाजपा की ओर से यह आरोप लगाया जाता है कि कांग्रेस के भूपेश बघेल के शासन काल में मतांतरण को लेकर प्रशासन की ओर से कार्रवाई नहीं की गई है। भाजपा सरकार मतांतरण के खिलाफ लगातार कदम उठा रही है।
भाजपा सरकार आने के बाद मतांतरण कराने वालों पर सख्त कार्रवाई की जा रही है। लोग जागरुक भी हो रहे हैं। कांग्रेस सरकार के दौरान शिकायत आती थी लेकिन कार्रवाई नहीं होती थी।
- टंकराम वर्मा, राजस्व मंत्री
अभी समय है कि समाज के सभी वर्ग मतांतरण रोकने के लिए आगे आएं। समन्वित प्रयासों से ही समाधान संभव है।
- चंद्रशेखर वर्मा, कार्यकारी प्रदेश अध्यक्ष, विश्व हिंदू परिषद
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गृह विभाग के आंकड़ों के अनुसार अब मतांतरण की गतिविधियां सिर्फ ग्रामीण नहीं बल्कि शहरी इलाकों में भी फैल रही हैं। ईसाई मिशनरियों द्वारा "चंगाई सभा" और चमत्कारी इलाज के माध्यम से मतांतरण कराया जा रहा है। लोगों को बीमारी से राहत, गरीबी से मुक्ति और जीवन में बदलाव का प्रलोभन देकर धर्म परिवर्तन के लिए प्रेरित किया जा रहा है।