
मुलताई। एक तरफ जिले में सरकारी नालों पर से मुहिम चलाकर पक्का अतिक्रमण हटाया जा रहा है वहीं मुलताई में ताप्ती सरोवर को जलापूर्ति करने वाले नाले सहित पटेल वार्ड स्थित नाले पर रसूखदारों का अतिक्रमण दिनों दिन बढ़ता जा रहा है लेकिन मुलताई में प्रशासन की उदासीनता से अतिक्रमण हटाया नहीं जा रहा है। इससे आगामी बारिश में जगह-जगह समस्या खड़ी हो सकती है। पूरे मामले में पटेल वार्ड में नाले पर हुए अतिक्रमण की नगर पालिका से शिकायत के बावजूद कोई कार्यवाई नहीं होने से रहवासियों में रोष व्याप्त है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार स्टेशन रोड से पटेल वार्ड की ओर जाने वाले मार्ग के पास से बहने वाले नाले को बंद कर उस में छोटा पाइप लगा दिया है एैसी स्थिति में बारिश के दौरान जगह-जगह पानी भर सकता है। बताया जा रहा है कि खासे चौड़े नाले को मुरम से ढंक कर उसमें मात्र एक पाइप लगाया गया है। आसपास के रहवासियों के अनुसार बारिश में तेज गति से पानी की आवक होती है जो आगे की ओर बढ़कर स्टेशन मार्ग के दूसरी ओर से ताप्ती सरोवर में समाहित होता है। लेकिन बताया जा रहा है कि नाले के आसपास मुरम से भरकर वहां प्लाटों की बिक्री भी कर दी गई है। इससे नाला बाधित हो रहा है। रहवासियों के अनुसार नाले को भरते समय इसका विरोध भी किया गया था। साथ ही नगर पालिका से भी शिकायत की गई थी लेकिन बावजूद इसके नाला मुरम से भर दिया गया तथा प्लाटों की भी बिक्री की गई। पूरे मामले में प्रशासन के संज्ञान में आने के बावजूद नाले पर से अतिक्रमण नही हटाया गया है जिससे आगामी बारिश में भारी समस्या खड़ी हो सकती है।
जलापूर्ति करने वाले नाले पर पक्का अतिक्रमण
ताप्ती सरोवर को मुख्य रूप से जलापूर्ति करने वाले नाले के हाल-बेहाल है। नाले पर जमकर पक्का अतिक्रमण करके नाले का स्वरूप बिगाड़कर छोटा एवं संकरा कर दिया गया है। एैसी स्थिति में ताप्ती सरोवर में आने वाले पानी का लो नाममात्र का रह गया है। नाले पर अतिक्रमण से जहां पूर्व में पहली बारिश में ही ताप्ती सरोवर लबालब हो जाता था वहीं अब ताप्ती सरोवर को भरने में लंबा समय लगता है। नाले पर पक्के अतिक्रमण में जगह-जगह पिल्लर डाले गए हैं जिससे पानी अवरूद्ध हो गया है तथा अतिक्रमण नये निर्माणों के साथ लगातार बढ़ता जा रहा है वहीं सरोवर में पानी की आवक भी नाममात्र रह गई है।
अतिक्रमण चिन्हित किया लेकिन हटाया नहीं
स्टेशन मार्ग पर ताप्ती सरोवर को जलापूर्ति करने वाले नाले पर प्रशासन द्वारा विगत दिनों अतिक्रमण चिन्हित कर अतिक्रमण कारियों को नियत समय में अतिक्रमण स्वयं हटाने की चेतावनी दी गई थी। लेकिन अतिक्रमणकारियों के हौसले इतने बुलंद हैं कि उन पर प्रशासन की चेतावनी का नाममात्र भी असर नही हुआ। स्थिति यह है कि किसी भी अतिक्रमणकारी द्वारा लेश मात्र भी अतिक्रमण नही हटाया गया। जागरूक नागरिकों को यह उम्मीद थी कि अतिक्रमण चिन्हित कर प्रशासन द्वारा बलपूर्वक अतिक्रमण हटाते हुए नाले को चौड़ा किया जाएगा ताकि बारिश में ताप्ती में पर्याप्त जल की आवक हो सके। लेकिन प्रशासन की अतिक्रमण मुहिम अचानक बंद होने से अतिक्रमण नही हटाया गया। एैसी स्थिति में इस बारिश में फिर समस्या ज्यों कि त्यों रहेगी। नागरिकों द्वारा पक्का अतिक्रमण हटाने की मांग प्रशासन से की गई है।
नागपूर रोड के नाले का भी बदला स्वरूप
इधर नागपुर रोड पर मोंग्या नाले के आसपास निर्माण कर नाले के मूल स्वरूप से खिलवाड़ किया जा रहा है। प्रशासन की आंखों के सामने लगातार नाले के आसपास निर्माण हो रहे हैं लेकिन अधिकारियों द्वारा कोई कार्यवाही नही की जा रही है। बताया जा रहा है कि सरकारी नालों की स्थिति दिन पर दिन बद से बदतर होती जा रही है तथा निर्माण के कारण नालों का अस्तित्व समाप्त हो रहा है जिसकी किसी को भी परवाह नही है। लगातार नये निर्माण से शहर के नाले लगभग समाप्त होते जा रहे हैं वहीं शिकायतों के बावजूद प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा कोई कार्यवाही नही करने से लोगों में रोष व्याप्त है।