भोपाल। नईदुनिया स्टेट ब्यूरो। खाद्य, उपभोक्ता मामले और सार्वजनिक वितरण को लेकर गठित संसदीय स्थायी समिति सोमवार को प्रदेश में सार्वजनिक वितरण प्रणाली, भंडारण, उज्जवला सहित अन्य योजनाओं को लेकर समीक्षा करेगी। अध्ययन दल आमजन से जुड़ी योजनाओं के क्रियान्वयन की स्थिति की जानकारी लेने के साथ सुझाव भी देगा। समिति के सदस्यों ने रविवार को विदिशा के नजदीक सांची के बौद्घ स्तूप और भोपाल में जनजातीय संग्रहालय का भ्रमण किया और सरकार के प्रयासों की सराहना की।
संसद की यह समिति राजस्थान का भ्रमण करने के बाद मध्य प्रदेश आई है। यह यहां सार्वजनिक वितरण प्रणाली, भंडारण और उपभोक्ताओं से जुड़े मामलों को लेकर प्रदेश में क्रियान्यन की स्थिति पर जानकारी लेगी। अधिकारियों के साथ सोमवार को होने वाली बैठक में समिति क्रियान्यन में आने वाली परेशानी और सुधार के सुझाव भी लेगी।
इसके निष्कर्षों को समिति के प्रतिवेदन में शामिल किया जाएगा। समिति के सदस्य अनिल फिरोजिया ने बताया कि हम सभी सार्वजनिक वितरण प्रणाली से लेकर उपभोक्ताओं से जुड़े हर पहलूओं पर बैठक में चर्चा करेंगे। इसमें सुधार के लिए सुझाव भी दिए जाएंगे और प्रदेश को योजनाओं के क्रियान्वयन में कोई कठिनाई आ रही है तो उसे केंद्र सरकार के संज्ञान में प्रतिवेदन के माध्यम से लाएंगे।
वहीं, राज्यसभा सदस्य राजमणि पटेल ने बताया कि बैठक में सरकार की नीति, क्रियान्वयन की स्थिति और सुधार के कदमों को लेकर चर्चा की जाएगी। यदि केंद्रीय योजनाओं के क्रियान्वयन में कहीं कोई परेशानी आ रही है तो उसे भी जाना जाएगा।
उन्होंने कहा कि दल के सदस्य सुदीप बंदोपाध्याय, वी वैथिलिंगम, कविता सिंह, डॉ.फौजिया खान, शांता छेत्री, खगेन मुर्मू सहित अन्य ने सांची और जनजातीय संग्रहालय का भ्रमण किया। सभी ने सरकार के प्रयासों की प्रशंसा की है। जनजातीय संग्रहालय के माध्यम से जनजातीय संस्कृति के बारे में पता लगता है।मालूम हो, इस दल में राज्यसभा और लोकसभा के सदस्य शामिल हैं।
डॉ.फारुख अबदुल्ला नहीं आए
जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री और लोकसभा सदस्य डॉ. फारुख अबदुल्ला भी शामिल थे। उनका भी दल के साथ आना प्रस्तावित था। इसके मद्देनजर पुलिस प्रशासन ने सुरक्षा संबंधी तैयारियां की थी। लेकिन वे नहीं आए। वहीं, राज्यसभा सदस्य एमसी मैरीकॉम का आना भी प्रस्तावित था पर वे भी नहीं आ पाईं।
मंगलवार को उज्जैन पहुंचेगा दल
संसदीय अध्ययन दल के सदस्य मंगलवार को उज्जैन जाएंगे। यहां बुधवार को महाकाल के दर्शन करने के बाद वे देर शाम तक लौटेंगे। 25 और 26 अगस्त को दल के सदस्य यहां से अपने गंतव्य के लिए प्रस्थान करेंगे।