dussehra 2023: नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। बुराई के प्रतीक रावण पर अच्छाई के स्वरूप मर्यादा पुरुषोत्तम राम की विजय का पर्व विजयादशमी इंदौर में मंगलवार को हर्षोल्लास से मनाया गया। शहरभर में दशानन के दंभ का दहन हुआ। इंदौर में 150 से अधिक स्थानों पर रावण के पुतले का दहन किया गया। इसके बाद इंदौर का हर क्षेत्र जयश्रीराम के जयघोष से गूंज उठा। इस बार रावण के साथ ही शूर्पणखा का पुतला भी जलाया गया। रावण दहन से पहले रंगारंग आतिशबाजी भी की गई। वहीं दशहरा पर शमी पूजन भी किया गया।
दशहरा मैदान पर 111 फीट का रावण बनाया गया था। साथ ही 250 फीट लंबी लंका भी बनाई थी। रावण दहन से पहले भगवान राम की शोभायात्रा निकाली गई। इस दौरान रंगारंग आतिशबाजी भी हुई। आयोजन का यह 54वां वर्ष है।
चिमनबाग मैदान पर 101 फीट ऊंचा रावण बनाया गया था। यहां भी 250 फीट की लंका बनाई गई थी। रावण दहन के साथ ही उसकी पूरी लंका भी खाक हो गई। यहां रावण का हर सिर धड़ से अलग होकर गिरा।
तिलक नगर मैदान पर रावण दहन से पहले सुबह 9 बजे चल समारोह निकालकर शमी पूजन किया गया। शाम 5 बजे राम रथयात्रा गायत्री शक्तिपीठ प्रज्ञा संस्थान रवींद्र नगर से निकाली गई। रात को 51 फीट ऊंचे रावण और 101 फीट लंबी लंका का दहन किया गया। आयोजन का यह 62वां वर्ष है।
छावनी के उषागंज मैदान पर 51 फीट के रावण का दहन हुआ। पुतले का निर्माण हिंदू-मुस्लिम ने मिलकर किया था। दहन से पहले इलेक्ट्रानिक आतिशबाजी की गई। दहन का यह 38वां वर्ष है।
विजय नगर में रावण दहन देखने लोग चौराहे पर खड़े हो गए, जिसके कारण यातायात बाधित होता रहा।
विजय नगर चौराहे पर इस बार आतंकवादी रूपी रावण का दहन किया गया। यहां 61 फीट ऊंचा रावण बनाया गया थआ। दहन का कार्यक्रम पिछले 41 वर्ष से किया जा रहा है।