नईदुनिया, उज्जैन : ज्योतिर्लिंग महाकाल मंदिर की व्यवस्थाओं में सुधार की हर कोशिश नाकाम नजर आ रही है। बुधवार को गर्भगृह की दहलीज से दर्शन करने आए एक वीआईपी ने अपनी बेटी को गर्भगृह में प्रवेश करा दिया और स्वयं वीडियोग्राफी करते रहा।
गुरुवार को घटना का वीडियो वायरल होने के बाद अफसरों को इसकी जानकारी मिली। इसके बाद मंदिर में हड़कंप मच गया, क्योंकि एक दिन पहले ही व्यवस्था में सुधार के लिए कलेक्टर ने अफसरों की पूरी फौज को मंदिर में तैनात किया है। वीडियो के आधार पर मंदिर समिति संबंधित व्यक्ति का पता लगा रही है।
महाकाल मंदिर में राजनीतिक हस्तक्षेप के कारण गर्भगृह की दहलीज से दर्शन की व्यवस्था चल रही है। राजनेताओं के साथ विभिन्न विभागों के ओहदेदार भी इसका फायदा ले रहे हैं। इस व्यवस्था से आम भक्त परेशान हैं।
गर्भगृह की दहलीज से वीडियो व फोटोग्राफी करने के कारण दर्शन बाधित होते हैं और आम श्रद्धालु जो दो घंटे लाइन में लगकर तीन किलोमीटर पैदल चलने के बाद गणेश मंडपम में पहुंचता है, वह 50 फीट दूर से भी भगवान के ठीक से दर्शन नहीं कर पाता है।
वीआईपी को रोकने में नाकाम लाचार अफसरों ने गर्भगृह नंदी हाल में वीडियो व फोटोग्राफी पर रोक लगाने के लिए जलद्वार पर मोबाइल लॉकर की स्थापना कराई थी। लेकिन वीआईपी नियम का पालन नहीं करते हैं। प्रोटोकॉल दर्शन व्यवस्था में लगे कर्मचारी भी उन्हें नियमों की जानकारी नहीं देते हैं। इससे व्यवस्था बन नहीं पा रही है।
संबंधित की पहचान कर रहे गर्भगृह में बच्चे को अनाधिकृत प्रवेश कराते तथा वीडियोग्राफी करते हुए एक व्यक्ति का वीडियो वायरल हुआ है। वीडियो फुटेज के आधार पर इसकी जांच कराई जा रही है। पहचान होने के बाद कार्रवाई का निर्णय लिया जाएगा।-मूलचंद जूनवाल, सहायक प्रशासक महाकाल मंदिर
(ज्योतिर्लिंग महाकाल मंदिर में गुरुवार को मुंबई से महाकाल दर्शन करने आए श्रद्धालु ने भगवान महाकाल को रजत मुकुट भेंट किया। मंदिर समिति की ओर से उनका सम्मान किया गया।पीआरओ गौरी जोशी ने बताया मुंबई से आए भक्त जिगर धर्मेंद्र मेहता ने भगवान महाकाल का एक किलो चांदी से निर्मित सुंदर मुकुट भेंट किया है। मंदिर कर्मचारियों ने मुकुट प्राप्त कर दानदाता को दान की विधिवत रसीद प्रदान की। पश्चात उनका सम्मान किया गया। पं.श्रेयस चतुर्वेदी ने पूजन कराया।)