डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाने के फैसले की दुनियाभर में चर्चा हुई। ट्रंप के इस फैसले का खुद अमेरिकी सांसदों ने भी विरोध किया। इस बीच ट्रंप के शीर्ष आर्थिक सलाहकार ने उन्हीं की तरह बात की है और भारत को धमकी दी है। अमेरिकी राष्ट्रीय आर्थिक परिषद के निदेशक केविन हैसेट ने चेतावनी भरे लहजे में कहा कि अगर भारत रूसी कच्चे तेल के व्यापार पर लगाम लगाने में विफल रहता है, तो अमेरिकी राष्ट्रपति किसी भी तरीके से टैरिफ नहीं हटाने वाले हैं।
उन्होंने भारत पर हमला बोलते हुए कहा कि वह अमेरिकी प्रोडक्टस के लिए बाजार खोलने के लिए जिद्दी रुख अपना रहा है, जिसकी वजह से अमेरिका-भारत की व्यापार वार्ता भी अब 'जटिल' हो गई है। उन्होंने आगे कहा कि अगर भारत इस मामले में नहीं झुकता है तो मुझे नहीं लगता है कि राष्ट्रपति ट्रंप भी ऐसा करेंगे।
बता दें कि अमेरिका ने बुधवार को भारतीय वस्तुओं पर शुल्क दोगुना करके 50 प्रतिशत कर दिया, जो ब्राजील के अलावा किसी भी देश के लिए सबसे अधिक है। इसमें भारत द्वारा रूसी कच्चे तेल की खरीद पर 25 प्रतिशत अतिरिक्त शुल्क भी शामिल है। हैसेट ने आगे कहा कि भारत-अमेरिका व्यापार वार्ता में उतार-चढ़ाव आते रहेंगे और अंतिम समझौते तक पहुंचने के लिए लंबा दृष्टिकोण अपनाना होगा।
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उन्होंने कहा, 'जब आप व्यापार वार्ताओं को देखते हैं, तो हम सभी ने एक सबक सीखा है कि आपको अपनी नजर क्षितिज पर रखनी होगी और यह समझना होगा कि अंतिम स्थिति तक पहुंचने से पहले उतार-चढ़ाव आते रहेंगे।' ट्रम्प के सलाहकार की टिप्पणी अमेरिकी वित्त मंत्री स्कॉट बेसेन्ट की पूर्व की टिप्पणियों से मेल खाती है, जिसमें उन्होंने कहा था कि भारत पर ज्यादा टैरिफ भारत द्वारा रूसी तेल की खरीद की वजह से है।