
एक गांव ऐसा जहां अनहोनी के डर से पक्की छत वाले मकान नहीं बनाते लोग-0
अजय जैन। विदिशा
हर आदमी का सपना होता है कि उसके सिर पर पक्की छत हो, लेकिन मप्र के विदिशा जिले की खरी ग्राम पंचायत में एक गांव ऐसा है, जहां किसी मकान पर पक्की छत नहीं है। ऐसा नहीं है कि ग्रामीण पक्की छत डलवाने में सक्षम नहीं हैं। दरअसल, लोग अनहोनी के डर से मकानों पर पक्की छत नहीं डलवाते। पक्के मकान में छत पर कवेलू या टिन की चादर लगाते हैं। यहां तक कि गांव में प्रधानमंत्री आवास योजना में स्वीकृत मकानों में भी हितग्राही टिन की छत बनाते हैं। विदिशा से करीब 17 किमी दूर बसे खाफ गांव की आबादी लगभग 300 है। यहां करीब 50 बड़े और छोटे मकान हैं, लेकिन सभी मकानों पर या तो कवेलू बिछाए हैं या फिर टिन की चादर लगाई है। अमीर हो या गरीब किसी के मकान की छत पक्की नहीं है। गांव के 70 वर्षीय बुजुर्ग कमलसिंह लोधी बताते हैं कि गांव में वर्षों से इस तरह के मकान बनाए जाते हैं, जिसमें छत सीमेंट कंक्रीट की नहीं होती। ग्रामीणों मानते हैं कि पक्की छत बनाने से घर मे कोई न कोई हादसा हो जाता है। बुजुर्ग बताते हैं कि कुछ साल पहले गांव के एक व्यक्ति ने सीमेंट कंक्रीट की छत डालने का काम शुरू किया, लेकिन इस दौरान घर के एक सदस्य की मौत हो गई, जिसके बाद उन्होंने छत नहीं डलवाई। गांव के युवा किसान शेरसिंह के मुताबिक पिछले साल एक संत ने इस अनहोनी को दूर करने के लिए शिखर वाला हनुमान मंदिर बनाने का सुझाव दिया था। संत का कहना था कि मंदिर बनने के बाद गांव में पक्की छत बनाने पर अनहोनी नहीं होगी। गांव के लोगों ने चंदा कर मंदिर बनाना शुरू कर दिया है। अब शिखर का काम ही बचा है। ग्राम पंचायत खरी के सचिव राजेश दांगी बताते हैं कि इस गांव में सिर्फ सरकारी स्कूल भवन और मंदिर में ही पक्की छत है। रहवासी मकानों में तो कोई पक्की छत डालने की हिम्मत ही नहीं करता।
पीएम आवास में भी नहीं होती पक्की छत
सचिव दांगी बताते हैं कि प्रधानमंत्री आवास योजना में इस गांव में 15 आवास मंजूर हैं। इन मकानों में पक्की छत डालने का प्रविधान है, लेकिन इस गांव में स्वीकृत आवासों में हितग्राही पक्की छत बनाने को तैयार नहीं होते। जिला पंचायत के तत्कालीन सीईओ दीपक आर्य ने हितग्राहियों को पक्की छत बनाने के लिए समझाने का भी प्रयास किया था। हितग्राही राशि वापस लौटाने को तैयार थे, लेकिन छत बनाने राजी नहीं हुए। इस गांव के पीएम आवास में छत के नाम पर टिन की चादर बिछाई जाती है।
...............
फोटो कैप्शन
17 विदिशा 01
विदिशा। ग्राम काफ में गजेंद्र सिंह का प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मकान बना है, जिसमें टिन की छत ही है। नवदुनिया
17 विदिशा 02
विदिशा। काफ गांव में अधिकांश मकानों पर कवेलू ही डाले गए हैं। नवदुनिया